शादी में मिली अनजान लड़की से दोस्ती और सेक्स- 2

(Mouth fuck Full Oral Story)

अजय चौधरी 2025-04-08 Comments

माउथ फक फुल ओरल स्टोरी में एक शादी में एक लड़की को सेट करके मैंने उसे चोदने की योजना बनाई. गाँव वाले घर में लेजाकर मैंने उसकी चूत चाटी और उसका मुखचोदन किया.

कहानी के पहले भाग
शादी में मिली अनजान लड़की से सेटिंग
में आपने पढ़ा कि मैं अपने पुश्तैनी गाँव में एक शादी में गया तो वहां मेहमान एक लड़की से मेरी सेटिंग हो गयी. हमें किसिंग वगैरा भी कर ली. मगर वह लड़की इससे आगे बढ़ने को तैयार नहीं थी.

अब आगे माउथ फक फुल ओरल स्टोरी:

अब रोज ही हमारी किस होती और मैं उसके चूचियों को दबाता.
लेकिन हमारी चुदाई नहीं हो पा रही थी क्योंकि उसके पास समय ज्यादा नहीं रहता था.

फिर एक दिन मैंने उससे कहा- तुम घर पर किसी भी बहाने से बोलकर आओ कि तुम 1 दिन के लिए अपनी सहेली के घर रुकोगी.
तब उसने कहा- ठीक है, मैं कोशिश करूंगी.

और उसने अपने सहेली की मदद लेकर यह प्लान बनाया कि वह पेपर देने के बाद उसके फ्रेंड के घर रुकेगी और दूसरे दिन उसकी फ्रेंड का जन्मदिन है इसलिए वह जन्मदिन की पार्टी करके दूसरे दिन पेपर देने के बाद ही घर वापस आएगी.

इस पर उसके घर वालों ने उसकी सहेली से जानकारी ली जिससे दिव्या ने पहले ही बात कर ली थी।

वह पेपर देने के बाद मेरे घर आ गई.
पहले तो मैंने उसे ले जाकर खाना खिलाया.
उसके बाद घर वापस लाया और कहा- दिव्या, जाओ तुम कपड़े चेंज कर लो. तब मैं तुम्हारे लिए कुछ स्पेशल चीज लाया हूं, वह तुम्हें दिखाता हूं

वह कपड़े चेंज कर कर आई.
तब मैंने उसके सामने वोडका की बोतल रख दी और बोला- आज हम लोग पार्टी करेंगे.
पर उसने पीने से मना कर दिया, बोली- मैंने कभी आज तक पी नहीं है.
तब मैंने उससे कहा- कोई बात नहीं, आज पीकर देखो. और वैसे भी तुम्हें घर कहां जाना है, यहीं रहोगी.

तो उसने हां कर दी.

मैंने दो पैग बनाए और एक उसे दिया और एक खुद पीने लगा.

उसने पहले पैग को पानी के तरीके से पीने की कोशिश की.
जिससे उसको खांसी आ गई और उसके आंसू भी निकल आए.

वह बोली- यार अजय, ये इतनी कड़वी है तुम कैसे पीते हो?
तब मैंने उसे कहा- पागल हो तुम … इसको एक सांस में नहीं पीते हैं. इसको एक सिप लेकर पीना चाहिए.

तब मैंने उसके लिए दूसरा पेग बनाया और उसको पीने का तरीका सिखाया.
फिर धीरे-धीरे उसको मैंने 2 पेग पिला दिया और फिर सिगरेट सुलगाई और उसे सिगरेट पिलाने लगा.

पहली बार में तो उसे खांसी आ गई लेकिन बाद में वो पीना सीख गई क्योंकि उसके लिए यह सब पहली बार था इसलिए उसको दिक्कत हो रही थी.

कुछ समय बीतने के बाद उससे सुरूर चढ़ने लगा और नशा भी हो गया.

फिर मैंने उसे अपने करीब खींचा और उसे किस करने लगा.
किस करते करते मैं उसकी चूचियों को दबा रहा था जिसका विरोध आज दिव्या नहीं कर रही थी क्योंकि वह नशे में थी.

फिर धीरे-धीरे मैं उसे किस करते करते गर्दन पर किस करने लगा और उसके चूचियों पर कपड़े के ऊपर से किस करने लगा और मुंह में लेकर चूसने लगा.

उसने मुझे ऊपर खींचा और मेरे होठों को बहुत ही जबरदस्त तरीके से चूसने लगी और काटने लगी जैसे कि वो कई सालों से प्यासी हो.

मैं उसके टी-शर्ट के अंदर हाथ डालकर उसकी चूचियों को दबा रहा था और किस भी किए जा रहा था.

दिव्या कुछ ही देर में बहुत गर्म हो गई और उसने कहा- अजय मुझे गर्मी लग रही है।
मैंने उसे उठाया और अपने बेडरूम में ले गया और ऐसी ऑन कर दिया.

फिर मैं वापस हॉल में आया और वोडका की बोतल और ग्लास दोनों ले जाकर रूम में रखा.
तब मैंने अपने शर्ट उतार दी और सिर्फ बरमूडा में रह गया.

मैंने उसे एक पटियाला पेग बनाकर पिलाया जिसके साथ उसे सिगरेट भी पिलाई.
उसके साथ मैं उसके ऊपर चढ़ गया और उसके होठों को किस करने लगा, उसके टीशर्ट के अंदर हाथ डालकर उसकी चूचियों को मसलने लगा.

दिव्या मदहोश थी उसे अब होश बहुत ही कम था।

मैं उसके होठों को किस करता, उसके गालों को किस करता, उसकी गर्दन पर किस करता.
जिससे वह सिर्फ सिसकारी ही ले रही थी- आह आआह ऊईई उई ईई उईई ईसस सई ईसई ईईईस!

मैंने मौका देखते ही उसके टी-शर्ट को निकाल दिया.
अब वह मेरे सामने सिर्फ सफेद कलर की ब्रा में थी.
मैंने उसकी ब्रा को खोल दिया और उसकी चूचियों को आजाद कर दिया.

उसकी चूचियां मेरे सामने आते ही मेरा तो दिमाग खराब हो गया।
कसम से उसकी चूचियां एकदम गोल थी और सफेद गोरी थी.
जैसे कि आप लोगों ने पोर्न मूवी में देखा होगा, सेम टू सेम वैसे ही थी.

फिर मैंने एक एक चूची को मुंह में लेकर चूसना शुरू कर दिया.
भले उसमें से कुछ नहीं निकल रहा था लेकिन मुझे आनंद बहुत आ रहा था।

मैं एक चूची को मुंह में लेकर चूसता और अपने दांतों से काट लेता.
जिससे उसकी मीठी सी चीख निकल जाती.
जिसे सुन कर मुझे और जोश आ जाता और दूसरी चूची को हाथ से मसल रहा था.

मेरे इस कार्यक्रम के दौरान दिव्या सिर्फ आंख बंद करके मजा लिए जा रही थी और बोल रही थी- अजय अजय अजय … प्लीज प्लीज मुझे और प्यार करो. मुझे बहुत प्यार करो. लेकिन मुझे कभी छोड़ना मत अजय! मैं तुमसे बहुत प्यार करती हूं. तुम पहले लड़के हो जो मेरे इतना करीब आए हो. तुम मुझे कभी धोखा मत देना और हमेशा मेरे साथ रहना।

दिव्या आंख बंद करके यही सब बड़बड़ा रही थी.
मैं उसकी चूचियों को काट भी लेता तो वह सिर्फ सिसकारियां लेकर मेरा ही नाम बड़बड़ा रही थी.

मैंने धीरे-धीरे उसके लोअर को भी उतार दिया और उसकी सफेद पेंटी को भी उतार दिया।

पैंटी उतरते ही मेरे सामने जो नजारा था, वह मैं शब्दों में बयां नहीं कर सकता.
उसकी चूत पर एक भी बाल नहीं था जैसा कि वह आज चुदने के लिए ही तैयार होकर आई हो.

मुझसे बर्दाश्त नहीं हुआ, मैंने उसकी चूचियों को छोड़कर सीधे उसकी चूत पर हमला बोल दिया.
उसकी चूत गीली हो चुकी थी और उसकी चूत से रस निकलने लगा था.

मैंने जैसे ही उसकी चूत पर अपनी जीभ लगाई, अपना मुंह लगाया, वैसे ही दिव्या ने अपने दोनों हाथों से मेरा सर अपनी चूत पर दबा दिया और सिसकारियां लेने लगी- आह आआह उई ईईआ आऊच मम्मीईई ईईई आ आह आआह आआ!

मैंने उसकी चूत को खोला और फिर जो नज़ारा मेरे सामने था, वो मैं आपको शब्दों में बता नहीं पाऊंगा.
बस आप इतना जान लें कि मानो कोई गुलाब की कली हो जो अभी खिली नहीं हो।

मैं उसकी चूत में एक उंगली डाली.
चूत में बहुत ही ज्यादा गर्मी थी जो मैंने उंगली डाल कर महसूस की.
और साथ ही साथ यह भी अनुभव किया कि उसकी चूत बहुत ही मुलायम और सॉफ्ट थी।

दिव्या की चूत के होठों को मैं अपने होठों से खींच खींच कर चूसने लगा और अपनी जुबान से उसे रगड़ने लगा.
मेरी इस हरकत से दिव्या अपने दोनों हाथों से बेड की चादर को मुट्ठी में कसकर छटपटाने लगी.

मैं उसके दोनों टांगों को फैलाकर उसकी चूत पर मुंह रखकर उसकी चूत को बहुत ही अच्छे से चाट रहा था.

मैं उसकी चूत में उंगली अंदर बाहर करते हुए जो रस निकल रहा था, उसे चाट रहा था.
मुझे चूत के होठों को चूसना बहुत ही ज्यादा पसंद है।

मैं दिव्या की चूत की अंदर तक अपनी जुबान को डाल रहा था जहां तक मेरी जुबान उसकी चूत में जा रही थी वहां तक मैं उसकी चूत का रसपान कर रहा था.

मुझे बहुत मजा आ रहा था क्योंकि उसकी चूत बहुत ही स्वादिष्ट थी और एक अलग ही खुशबू आ रही थी.

मैं उसकी चूत को चाटते चाटते पागल हुआ जा रहा था.
मेरा तो यही दिल कर रहा था कि बस मैं इसकी चूत को हमेशा ऐसे ही प्यार करता रहूं.

काफी देर तक उसकी चूत को चाटने के बाद दिव्या बहुत ही तेजी से हाथ पैर पटकने लगी.
जिससे मुझे यह अंदाजा हो गया कि दिव्या अब झड़ने वाली है.

मैंने दिव्या के दोनों पैरों को पकड़ा और एक साथ उसके गर्दन में ले जाकर फंसा दिया और फिर उसकी चूत हवा में ऊपर की ओर उठ गई.

फिर मैं उसकी चूत पर अपने होठों और दांतों से टूट पड़ा.
लेकिन थोड़ी ही देर में उसने मुझे हाथ से हटा दिया.

लेकिन मैं कहां उसकी सुनने वाला था.
मैंने फिर से वैसे ही उसके पैरों को उसकी गर्दन के पास ले जाकर चिपकाया और फिर उसकी चूत को अपने मुंह में लेकर चाटने लगा.

लेकिन वह बार-बार हिल रही थी जिससे मेरा बैलेंस नहीं बन रहा था.
फिर मैंने उसके कमर को पकड़ा और फिर मैं बैठ कर उसकी चूत को काफी तेजी से मुंह लगाकर चाटने लगा, चूसने लगा.

इस बार दिव्या नहीं छुट पायी मुझसे.
सिर्फ उसकी चीख़ और सिसकारी की आवाज और तेज हो गयी थी जिससे पूरा कमरा गूँज रहा था।

थोड़ी ही देर में उसने अपना पानी छोड़ दिया और फिर निढाल होकर हाथ पैर चौड़े करके लेट गई.

लेकिन मैं लगा रहा.
मैंने उसकी चूत में उंगली करना नहीं बंद किया और अपने होठों से उसकी चूत के होठों को चूसता रहा.

थोड़ी ही देर में वह फिर से गर्म हो गई।
मैंने उसे उठाया और बेड से नीचे उतार कर उसको बैठाया.

फिर मैंने अपना बरमुडा उतारा और उसको बोला मुंह में लेने के लिए अपना लंड!
लेकिन वह होश में नहीं थी कि वह मुझसे बात कर सकती.
उसकी आंखें हल्की-हल्की खुली हुई थी और हल्की-हल्की बंद थी.
उसे काफी ज्यादा नशा हो गया था.

मैंने उसकी नाक को पकड़ा और दबा दिया.
फिर सांस न ले पाने की वजह से जैसे ही दिव्या ने मुंह को खोला, मैंने तुरंत अपना लंड उसके मुंह में डाल दिया और उसे चुसाने लगा.

लेकिन दिव्या के होश में ना होने की वजह से उसके दांत मेरे लंड पर लग रहे थे जिससे मुझे मजा बिल्कुल नहीं आ रहा था।

फिर मैंने पानी का गिलास उठाया और उसके मुंह पर मारा.
जिससे उसको थोड़ा सा होश आया.

फिर मैंने उसके मुंह में अपना लंड डाला.
फिर उसने जैसे ही मेरा लंड अपने मुंह में लिया, मैंने धक्का लगा दिया और मेरा लंड उसके हलक तक चला गया.
माउथ फक फुल ओरल से उसको उल्टी आने लगी.

लेकिन मैंने अपना लंड उसके मुंह से नहीं निकाला और मैं उसकी नाक बंद करके उसके मुंह में अपना लंड अंदर बाहर करता रहा.

बीच-बीच में उसके दांत मेरे लंड पर लग रहे थे और जैसे ही उसके दांत मेरे लंड पर लगते, मैं तुरंत ही उसके गाल पर एक जोर का तमाचा मारता, उसे होश में आने को बोलता।

काफी देर तक ऐसा चलता रहा.

फिर मैंने उसके मुंह में अपना लंड डालकर सारा माल निकाल दिया; मतलब उसके मुंह में झड़ गया.

मेरे लंड से निकली हुई हर एक बूंद उसके मुंह में मैंने गिरा दी और उसको निगलने को बोला.
वह भी उसे पी गई.

फिर मैंने उसके बालों को पकड़ा और उसे उठाकर बिस्तर पर लिटाया.

यह माउथ फक फुल ओरल स्टोरी आपको कैसी लगी?
कमेंट्स और मेल में बताएं.
[email protected]

माउथ फक फुल ओरल स्टोरी का अगला भाग: शादी में मिली अनजान लड़की से दोस्ती और सेक्स- 3

What did you think of this story??

Comments

Scroll To Top