कोटा की कमसिन कली-2
(Indian College girl Kota Ki Kamsin Kali- Part 2)
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पिछले भाग में आपने पढ़ा कि कैसे मैंने और मेरी कोटा की फेसबुक फ्रेण्ड साक्षी गोयल ने रात भर होटल में चुदाई की।
अब आगे..
सुबह 9 बजे जब मेरी आँख खुली, साक्षी अभी भी सो रही थी। मैंने उसे जगाया और उसने मुझे एक चुम्मा दिया।
अब मेरे दिमाग में एक विचार आया कि क्यों ना बाथरूम में सेक्स किया जाए क्योंकि आप लोग जानते हैं बाथरूम में नहाते हुए सेक्स में बहुत मज़ा आता है।
चाय पीकर हम दोनों बाथरूम में आ गए.. बाथरूम में आते ही हम दोनों नंगे हो गए.. शावर के नीचे खड़े होते ही हम दोनों के बदन भीगने लगे।
साक्षी मेरे बदन से चिपक गई, मैं उसके होंठों को चूमने लगा।
अब मैं एक हाथ से उसके मम्मों को सहलाने लगा और दूसरे हाथ से उसकी चूत में उंगली करने लगा।
मैं नीचे बैठ गया और उसकी चूत पर अपना मुँह लगा दिया और उसकी चूत चाटने लगा।
कुछ देर बाद मैंने उसे अपना लंड चूसने को बोला..
वो नीचे बैठ गई और अपनी जीभ को निकाल कर मेरे लंड के टोपे पर फेरने लगी।
मेरा लंड कंट्रोल से बाहर हो चुका था।
मैंने उसे दीवार के सहारे झुका दिया.. और अपना लंड उसकी चूत में डाल कर धक्के लगाने लगा।
मैंने उसे जमीन पर लिटा दिया और उसके ऊपर आकर मैं उसकी चुदाई करने लगा।
जल्दी ही हम दोनों झड़ गए।
अब हम नहा-धोकर आगे का प्रोग्राम बनाने लगे।
हम सर्वप्रथम चले ‘सावन फुहार वाटर पार्क’
वहाँ जाकर देखा वहाँ बहुत से युगल पहले से ही अठखेलियां कर रहे थे।
हम दोनों भी पूल में कूद गए।
पूल में हम साथ में मस्ती करने लगे।
इस दौरान हमने कई बार चुम्मा-चाटी की.. पर इससे ज्यादा कुछ नहीं किया।
डेढ़ दो घंटे की मस्ती के बाद हम वाटर पार्क से बाहर आए और हमने एक होटल में खाना खाया।
फिर हम थोड़ा मार्केट में घूमे।
इसके बाद चल दिए कोटा के चम्बल गार्डन में.. यहाँ पर मेरी कई यादें जुड़ी हुई थीं।
यहाँ का माहौल पहले से बदल चुका था।
वहाँ पर अब ज्यादातर युगल जोड़े थे।
बहुत से युगल जोड़े चुम्बन करते हुए मिल गए।
हमने भी बहती गंगा में हाथ धो लिए और हमने भी वहाँ चूत में लंड डालने के अलावा सब कुछ किया।
इसके बाद हम वहाँ के एक मॉल में गए।
मॉल में थोड़ा घूमने के बाद हमने मल्टीप्लेक्स का सुपर लक्जरी टिकट बुक किया।
सुपर लक्जरी सीट तो आप लोगों ने देखी ही होगी.. बड़ी लंबी सीट जिस पर आप आराम से लेट कर मूवी का मज़ा ले सकते हैं।
ये सीटें सबसे लास्ट की लाइन में होती हैं। ज्यादातर युगल जोड़े ही सुपर लक्जरी टिकट लेना पसंद करते हैं। वहाँ उन्हें फुल मज़े करने का मौका भी मिल जाता है।
कुछ देर बाद फ़िल्म चालू हुई.. साइड में एक दो और जोड़े थे। कुछ देर बाद उन लोगों ने भी प्रोग्राम शुरू कर दिया।
हम भी मौका कहाँ चूकने वाले थे, मैंने साक्षी को अपनी ओर खींच कर उसके होंठों को चूम लिया।
अब मैं अपना एक हाथ उसके टॉप के ऊपर से ही रख कर उसके मम्मों को सहलाने लगा। फिर मैंने अपना हाथ उसके टॉप के अन्दर डाल दिया और उसके नंगे मम्मों को सहलाने लगा।
उसे भी बहुत मज़ा आ रहा था।
फिर मैंने अपना हाथ नीचे ले जाकर उसके जीन्स का बटन खोल कर अपना हाथ उसकी पैंटी में डाल दिया।
उसकी चूत पहले से ही पनिया चुकी थी।
मैं उसकी चूत सहलाने लगा।
मैंने साक्षी का हाथ भी पकड़ कर अपने लंड पर रख दिया।
उसने मेरे जीन्स की ज़िप खोल कर लंड को बाहर निकाल लिया।
इधर मैं पहले एक उंगली उसकी चूत में डालने लगा.. फिर दो उंगली उसकी चूत में डालने लगा। वो भी मेरे लंड को ऊपर-नीचे किए जा रही थी।
साथ में हम एक-दूसरे को किस भी किए जा रहे थे।
यह एक-दूसरे की मुठ मारने का सिलसिला जब तक जारी रहा.. जब तक हम दोनों झड़ नहीं गए।
इसके बाद इंटरवल हुआ और हमने कपड़े सही किए।
फ्रेश होने के बाद मैं कोल्डड्रिंक और कुल्फी आइसक्रीम लेकर आया।
कुछ देर में ही फ़िल्म दोबारा से शुरू हुई और लाइट बंद हो गई।
हम एक ही कुल्फी में से दोनों कुल्फी का आनन्द लेने लगे।
जब मैंने अपनी बगल में देखा तो पाया बगल वाला युगल जोड़ा भी पूरे मज़े कर रहा हैं।
एकदम अंधेरा था.. किन्तु पर्दे से आती रोशनी से हल्का सा दिख रहा था।
लड़के ने लड़की को अपने ऊपर ले रखा था.. अर्थात लड़की लड़के के लंड पर बैठी हुई थी और धुंआधार चुदाई हो रही थी।
मैं समझ गया कि ये लोग लोकल के हैं और चुदाई के लिए रूम की व्यवस्था ना होने के कारण यहाँ पर आकर मज़े करते हैं।
मैं भी कहाँ पीछे रहने वाला था।
हमने थोड़ी देर एक-दूसरे के लंड चूत को सहलाया और फिर जब हम दोनों चुदाई के लिए तैयार हो गए तो साक्षी को मैंने अपनी घोड़ी के जैसे में बैठने को बोला।
साक्षी मेरे सामने आकर खड़ी हो गई.. अब मैंने उसकी जीन्स को नीचे किया और उसकी पैन्टी को भी नीचे किसका दिया।
उसके विशाल चूतड़ मेरे सामने थे। मैं उसके चूतड़ों को सहलाने लगा।
अब मैंने अपना लंड बाहर निकाला और उसे अपने ऊपर बैठने को बोला।
मैंने अपना लंड उसकी चूत के मुँह पर लगाया और उसे बैठने को बोला और वो बैठ गई।
किन्तु लंड चूत से फिसल गया।
मैंने फिर से कोशिश की और लंड का मुँह चूत में घुस गया। अब वो मेरे लंड पर धीरे-धीरे बैठती चली गई और पूरा का पूरा लंड उसकी चूत में घुस गया।
मैंने पीछे से उसके मम्मों को पकड़ लिया। वो ऊपर-नीचे होकर लंड अपनी चूत में लेने लगी। हम दोनों को चुदाई का पूरा मज़ा आ रहा था। चूँकि हम कुछ देर पहले झड़ चुके थे.. सो इस बार हमने काफी देर तक लगातार चुदाई की।
देर तक चली इस चुदाई में दोनों को खूब मज़ा आया और झड़ गए।
हम दोनों ने अपने कपड़े सही किए और और कुछ देर फ़िल्म देखी और फ़िल्म खत्म होते ही हम बाहर आ गए।
इसके बाद हम अपने होटल वापस लौट कर आ गए।
दोस्तो, इस प्रकार हमने कोटा भ्रमण के साथ चुदाई के भी खूब मज़े किए।
दोस्तो, यह थी मेरी दमदार चुदाई की कहानी, उम्मीद है कि आपको बहुत पसंद आई होगी।
आप मुझे फेसबुक पर अपनी प्रतिक्रिया से जरूर अवगत कराएं।
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