जीना इसी का नाम है-4
अनीता ने अपने वक्ष पर मेरा चेहरा भींच लिया, मैं अपने नाक और होंठ उसके उभारों पर घुमा रहा था, तभी अनीता ने एक हाथ से अपना स्तन पकड़ा और उसका निप्पल मेरे मुख में डाल दिया। मैं समझ गया कि वो क्या चाहती है। मैंने बारी उसके चूचुक खूब चूसे, तभी बिजली चमकी मैंने […]