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जानबूझ कर अपने अंग प्रदर्शन की कहानियाँ
हिंदी सेक्सी स्टोरीज जानबूझ कर अंग प्रदर्शन नंगी चूची, नंगी बुर, शरीर दिखा कर उत्तेजित करने व सेक्स के लिए लुभाने की कहानियाँ
Hindi Sexy Stories Ang Pradarshan karke, nangi chuchi, nangi choot, nangi bur dikha kar ladkon aur mardon ko lubhane wali
Hindi Sex Stories About sexually sensually exposing body, boobs and thighs
इमरान एक ऐसा एहसास था कि कोई उसको नंगी अवस्था में ऐसे चुदाई करते देख रहा है… वाह… दोस्तो… इस तरह के सेक्स ने यहाँ हमारे जीवन में अचानक ही एक नया मोड़ ला दिया था… सलोनी के चूत के पानी ने मेरे लण्ड को और भी जोश में ला दिया था… मगर आश्चय यह […]
इमरान पहले भी ना जाने कितनी बात सलोनी घर में नंगी ही और काम करती रहती थी मगर मैं उससे कोई रोमांस नहीं करता था और ना मुझे कोई अजीब लगता था। क्युकि हम दोनों यहाँ अकेले ही रहते थे। तो उस आज़ादी का फ़ायदा उठाते थे। मैं भी ज्यादातर पूरा नंगा ही सोता हूँ […]
लेखक : इमरान सॉरी दोस्तो, रिकॉर्डिंग ने धोखा दे दिया… लगता है यहाँ तक बैटरी थी…उसके बाद बैटरी खत्म ! मगर इतना कुछ सुनकर मुझे यह तो लग गया था कि सलोनी को अब रोकना मुश्किल है.. मैं कुछ देर तक बस सोच ही रहा था कि अब आगे क्या और कैसे करना चाहिए… बहुत […]
प्रेषक : राज वानखेड़े (बदला हुआ नाम) दोस्तों मैं हमेशा से अन्तर्वासना का पाठक रहा हूँ। आप लोगों की सच्ची कहानियाँ पढ़ने के बाद मुझे भी लगा कि क्यों न मैं भी अपनी सच्ची कहानी आप को बताऊँ और यह एकदम सच्ची है। बात उन दिनों की है जब मैं 18 साल का था और […]
लेखक : इमरान सलोनी- चल अब जल्दी से घर चल… देर हो रही है। … … पारस- भाभी प्लीज माफ़ कर दो न… अच्छा अब कभी ऐसी गलती नहीं करूँगा…प्रोमिस… सलोनी- अच्छा ठीक है… पर कुछ समय दूर रह… मेरा मूड बहुत ख़राब है… पारस- ओके मेरी प्यारी भाभी… पुचच च च च… … पारस- […]
लेखक : इमरान सलोनी- अच्छा अच्छा… अब न तो सपना देख और ना दिखा… जल्दी से घर चल मुझे बहुत तेज सू सू आ रही है… पारस- वाओ भाभी… क्या कह रही ही… आज तो आपको खुले में मुत्ती करवाएँगे… सलोनी- फिर सनक गया तू… मैं यहाँ कहीं नहीं करने वाली… पारस- अरे रुको तो […]
मैं सोचता हूँ कि अगर मैं लड़की होती, तो चालू बनती, कई आशिक बनाती, स्कूल कॉलेज में बदनाम होती और जब औरत बनती, तो गैर मर्दों से चुदवाती मतलब फुल करेक्टर-लैस होती।
लेखक : इमरान पारस- वाह यार… तुम्हारा काम तो बहुत मजेदार है। लड़का- क्या साहब… बहुत मेहनत का काम है… पारस- वो तो है यार देख मेरे कैसे पसीने छूट गए… और तेरे भी जाने कहाँ कहाँ से, सब जगह से गीला हो गया तू तो… सलोनी- बस अब तो हो गया ना पारस- हाँ […]
सलोनी- ओके बेबी… अब पीछे से तो हट… जब देखो… कहीं न कहीं घुसाता रहेगा… अब इसको बाज़ार में जरा संभाल कर रखना… ओके? पारस- भाभी यही तो कंट्रोल में नहीं रहता, अब तो खुला रास्ता है… बस स्कर्ट उठाई और अंदर… हाहा…हाहा… सलोनी- अच्छा जी… तो यह तेरा प्लान है… मारूंगी… हाँ… देख ऐसा […]
लेखक : इमरान कुछ ही देर में पारस की ट्रेन चली गई, मैं जल्दी से गाड़ी में आकर बैठ गया और फ़ोन निकाल कर रिकॉर्डिंग ऑन की… इस टेप को सुनने में पूरे 3 घंटे लगे, टेप सुनने में ही मेरी हालत खराब हो गई और मैंने दो बार मुठ मारी। मैं सपने में भी […]
लेखक : इमरान रसोई से बाहर आ उसने तौलिया लिया और मेरी ओर पीठ करके अपनी चूत साफ करने लगी। उसकी कमर से लेकर चूतड़ों तक पारस का वीर्य फैला था। वो जल्दी जल्दी साफ़ करते हुए पीछे मुड़ कर बाथरूम की ओर भी देख रही थी। उसकी इस स्थिति को देखते हुए मेरे लण्ड […]
वाकयी सलोनी की चूत बहुत खूबसूरत है, उसके छोटे छोटे होंट ऐसे आपस में चिपके रहते हैं जैसे किसी किशोर लड़की के... और चूत का रंग गुलाबी है जो उसकी गदराई सफ़ेद जांघों में जान डाल देता है।
जब मैं उसकी कच्छी उसके चूतड़ों से नीचे उतारने लगा तो उसके हिलते हुए चूतड़ों के बीच उसका सुरमई गुदा-द्वार देख मेरे छक्के छूट गए और जैसे ही मैंने उसकी झांकती गुलाबी, चिकनी चूत जिसके दोनों होंट आपस में चिपके थे, देखते ही मेरे पसीने छूट गए।
मैं घर चार बजे पहुँच गया, भाभी को जब मैंने यह सब बताया तो उनकी ख़ुशी का ठिकाना नहीं रहा, उन्होंने मुझे बाहों में भर लिया और मेरी तीन चार पप्पी ले लीं। उसके बाद हम लोगों ने आपस में योजना बनाई कि भाभी की बेइज्ज़ती का बदला कैसे लेना है। मैंने भाभी से पूछा- […]
गीता ने मेरी लुंगी की गाँठ खोल दी और मेरा लण्ड हाथ में पकड़ते हुए बोली- आह क्या मोटा लोड़ा है ! देवर जी इससे तो चुदने में मज़ा ही आ जाएगा। गीता लेट गई और अपना पेटीकोट उठा कर बोली- एक बार चोद ही दो ! फिर दोस्ती पक्की हो जाएगी। मैं बोला- नेक […]
मेरा नाम राकेश है, मेरी पढ़ाई के बाद मुंबई में दस हजार रुपए की मेडिकल रेप्रिजेंटटिव की नौकरी लग गई थी। मुझे औरतों को पटा कर और फंसा कर चोदने का शौक था। पाँच-छः औरतें पढ़ाई के समय से फंसी हुई थी, महीने में 4-5 बार उनसे चुदाई का मज़ा ले लेता था। उनमें से […]
चूत में ऊँगली डाल कर सिसकारियाँ भरने लगी, “भैया चोद ले मुझे, मार ले मेरी !” और उसी को याद कर-कर के रात को अपने जिस्म की आग को ठंडा किया।
स्तन नारी के सबसे आकर्षक अंग हैं वैसे तो प्रकृति ने इन्हें मूलतः शिशु के स्तनपान के लिए बनाया है पर वयस्क लोग भी इन्हें छूने, सहलाने और चूसने से बाज नहीं आते।
सभी को देविन का प्रणाम. मेरे पड़ोस में एक नए किरायेदार रहने के लिये आए. वो एक बिहारी परिवार था. पति पत्नी और उन का एक साल का लड़का. वे लोग मेरे घर के पीछे वाले घर में ही रहते थे. जब मैंने उसे देखा तो मेरे मन उसे देख कर पता नहीं क्या होने […]
आनन्द की बात से हमें उसके साथ सहानुभूति हुई। ऊषा ने कहा- कोई बात नहीं देवर जी, सब्र का फल बड़ा नमकीन होता है। आनन्द चला गया पर हम दोनों इस वार्तालाप से पुनः अति वासनामय थे। अतः एक और दौर चुदाई में समय कब बीत गया पता ही नहीं चला। अब हम अपने सेक्स […]