खेल खेल में चूत लन्ड का मज़ा
हम सब चुदास की आग में जल रहे थे और सभी जानते थे कि ये खेल कैसे खेला जाता था बस अभी तक किसी ने इस खेल को खेला नहीं था तो आज सब के मन में इसको खेल को खेलने की इच्छा थी।
हम सब चुदास की आग में जल रहे थे और सभी जानते थे कि ये खेल कैसे खेला जाता था बस अभी तक किसी ने इस खेल को खेला नहीं था तो आज सब के मन में इसको खेल को खेलने की इच्छा थी।
अपने लण्ड पर थूक लगा कर उसकी चूत के मुँह पर रख दिया और लवड़ा घिसने लगा। सोनू के मुँह से गालियां निकल रही थीं- बहन के लौड़े.. जल्दी अन्दर डाल नहीं.. तो तेरी गांड मार दूँगी।
एक दिन भाभी बाथरूम में मूत रही थीं, मैं दरवाजे के नीचे से उनकी चूत देख रहा था। तभी अचानक से उन्होंने वैसे ही बैठे हुए ही टॉयलेट का दरवाजा खोल दिया, मैं डर के मारे वहीं खड़ा रहा।
यह कहानी मेरी किटी पार्टी की है। हम पांच सहेलियां.. हर महीने किसी एक दिन किसी भी ठिकाने पर मिलते थे और इस दौरान खाने-पीने के साथ दुनिया जहान की बातें होती थीं।
मेरी ट्यूशन में आने वाली एक लड़की मुझे भा गई. मैंने उसे प्यार जताना शुरू किया तो वो भी मेरे पास आने लगी. मैं उसे अपने पास बैठाने लगा. एक रात उसका फोन आया...
विनय के करीब आते ही मैंने अपनी जांघों को पूरा खोल दिया और मैं बोली- विनय, अगर तुम्हारे पास केला निकला.. तो खिलाओगे ना.. वादा करो।
सबसे पहले जूली ने निहायत ख़ूबसूरती के साथ अपने कपड़े उतारने शुरू किये। उसने हल्के से डांस करते हुए अपनी स्कर्ट के साथ का ब्लाउज और फिर डांस करते हुए उसने अपनी ब्रा भी उतार दी।
मुझे अपने चचेरे भाई के साथ रहने का मौक़ा मिला तो भाभी की सुन्दरता मेरे लौड़े पर कहर ढाने लगी. बाथरूम में भाभी मूतने गई तो अनायास उनकी चूत के दर्शन मुझे हुए!
मैं क्या कहूँ अपनी नजर को जो सूजी की चिकने जिस्म से हटती नहीं। उसकी चिकनी चिकनी टांगें.. चिकनी चूत और खासतौर से उसकी रसीली चूचियाँ..
एडलिना की चूत फूल कर लाल हो गई थी, गाण्ड भी लाल पड़ गई थी। हम दोनों चिपक कर लेटे हुए थे, जब दो लोग खास तौर पर आदमी और औरत साथ लेटे हों और वो भी नंगे..
मेरी मौसी मुझे और ही निगाह से देखती थी, वो बड़े आराम से मेरे सामने ही कपड़े बदल लेती थी। मैंने उसे अक्सर पूरी नंगी देखा था। थोड़े दिन बाद मौसी शुरू हो गई- मेरी छातियों को घूर मत, दबा के देख!
नवीन मुझे चोद कर झड़ गया पर मैं प्यासी ही रह गई। सुनील नवीन की बीवी को चोदने क्र बाद मुझे मेरे पति के पास छोड़ गया तो मैं अपने पति से चुदी।
महिलाओं में श्वेत-प्रदर या ल्यूकोरिया या लिकोरिया (Leukorrhea) या ‘सफेद पानी आना’ की समस्या के कारण और उनके घरेलू उपचार
ब्यूटी कॉन्टेस्ट के बाद लड़कियों ने खुद स्टिप टीज के बाद खुली चुदाई का कार्यक्रम बना लिया. लड़कियाँ तैयारी में लग गई तो मैं एक लड़की को लेकर बगीचे में आ गया.
सूजी के कमरे में जाकर मैंने उसे ब्रा पैन्टी का उपहार देकर बताया कि मैं उसकी चूत चुदास और नंगे बदन से खेलेते हरकतें देख चुका हूँ और उसे चोदना चाहता हूँ।
यह कहानी ना होकर मेरी vवस्स की च्चाई है जिसे मैं कभी नहीं भूल सकता। मैंने अपनी भांजी को पटाया और मौका मिलते ही उसकी चूत की चुदाई कर दी!
मैंने चाटना बंद किया और अपने लौड़े को चूत के मुँह पर टिका दिया और झटका लगा दिया, लौड़ा सील तोड़ता हुआ चूत में घुस गया। डॉली ने दर्द को होंठों में दबा लिया!
सुरेश के दफ्तर से निकल कर सुनील मुझे अपने एक दोस्त नवीन के घर ले गया. उसने मुझे नवीन के हवाले किया और नवीन ने बताया कि अब सुनील उसकी बीवी को चोदेगा.
दोनों लड़कियाँ प्रोफ़ेसर के पास जाकर उसे गर्म करने लगी। कहानी में पढ़ें कि कैसे लड़कियों ने प्रोफ़ेसर को चोद। उसके बाद मैं सूजी को चोदने के जुगाड़ में लग गया।
गाँव की एक कमसिन और नाजुक कली से मेरा प्रेम शुरू हुआ.. जब चूत चुदाई का मौका आया तो वो डर गई… लेकिन किसी तरह से उसे चोदना शुरु किया…