सर की वाइफ की चुत चुदाई की सेक्स स्टोरी

(Sir Ki Wife Ki Chut Chudai Ki Sex Story)

मैं आपका राज शर्मा, 24 साल का, रतलाम से. मैंने काफी सेक्स स्टोरी पढ़ी हैं तो सोचा क्यों ना मैं भी अपनी स्टोरी आप तक पहुंचाऊँ…
यह स्टोरी तब की है, जब मैं 18 साल का था. मेरे 12वीं के बोर्ड के एग्जाम खत्म हो गए थे और रिजल्ट आने में कुछ महीने थे.
तब मैंने सोचा कि क्यों न कोई कंप्यूटर कोर्स कर लिया जाये!

मैंने अपने घर के पास के इंस्टिट्यूट का नाम सुना था. वो जगह बड़ी तो नहीं थी लेकिन घर के पास होने की वजह से मैंने वहाँ ज्वाइन कर लिया.
पहले दिन सुबह मैं जब वहाँ गया तो देखा कि वहाँ 4 लड़के थे और इंस्टिट्यूट के सर थे.

एक हफ्ता नार्मल चला. उसके बाद जब मैं इंस्टिट्यूट गया तो देखा कि वहाँ एक लड़की भी बैठी है. मुझे लगा कि कोई नई लड़की होगी.
सर आये नहीं थे और कोई और वहाँ पर था ही नहीं तो मैंने सोचा, अच्छा मौका है, मैं लड़की के पास गया और उससे पूछा- आर यू न्यू हियर?
उसने कहा कि वो इंस्टिट्यूट के सर की वाइफ है और कभी-कभी यहाँ पढ़ने के लिए आ जाती है.

फिर उसने पूछा- तुम्हें यहाँ पहले नहीं देखा?
तो मैंने कहा- मैं यहाँ नया हूँ, अभी एक हफ्ता ही हुआ है.
और यह कह कर मैं अपनी जगह बैठ गया.

लेकिन मैं काफी हैरान था क्योंकि वो सर से काफी छोटी लग रही थी.

कुछ दिन नार्मल चले. सर के साथ कभी-कभी उनकी वाइफ भी आ जाती थी पढ़ने… वो दिखने में बहुत सेक्सी थी.

एक दिन सर ने हमें बताया कि वो कुछ काम से एक सप्ताह के लिए अपने गांव जा रहे हैं और उनकी वाइफ हमें पढ़ाई कराएगी.
उस समय मैं बहुत खुश था, कम से कम उनके साथ टाइम बिताने का समय तो मिलेगा.

फिर मैं घर जाकर प्लानिंग करने लगा, कि आगे क्या किया जाए. मैं इतना अच्छा मौका हाथ से नहीं जाने देना चाहता था. अगले दिन मैं सुबह जल्दी पहुँच गया इंस्टिट्यूट… वहाँ पर सर की वाइफ अकेली ही बैठी थी जैसे मैंने सोचा था.
मैंने उन्हें ‘हेलो’ कहा तो उन्होंने पूछा- तुम काफी जल्दी आ जाते हो?
और स्माइल दी.
मैंने भी स्माइल देते हुए कहा- घर पर बोर ही होता हूँ, यहाँ मेरा अच्छा टाइम पास हो जाता है.

फिर उन्होंने बताया- मैं भी घर पर बोर हो जाती हूँ.
और बताया कि सर और वो यहाँ पर अकेले रहते हैं.

मैंने स्माइल देते हुए कहा- लेकिन आप सर से काफी छोटी लगती हो उम्र में?
तो उन्होंने बताया कि वो 22 साल की है और सर 29 के हैं.

फिर मेरे साथ के स्टूडेंट आ गये और मैं अपनी जगह में जाकर बैठ गया.
मैंने उस दिन नोटिस किया कि वो मुझे काफी देख रही थी. मैं काफी खुश था कि मैंने काफी जल्दी प्रोग्रेस कर ली.

अगले दि मैं मोर्निंग में पहले से इंस्टिट्यूट पहुँच गया, इंस्टिट्यूट बंद था. 5 मिनट बाद, सर की वाइफ आ गई, उन्होंने मुझे देखा तो वो मंद-मंद मुस्कुराने लगी. शायद वो मेरी इंटेशन समझ गई थी.
हम अन्दर गये. थोड़ी बहुत बातों के बाद मैंने सर की वाइफ से कहा- मेरे लैपटॉप में वायरस के कारण कुछ प्रॉब्लम है और फॉर्मेट मारने की जरूरत है. नहीं तो प्रॉब्लम कहीं और भी ज्यादा ना हो जाए.
मैंने उसे कहा- मुझे फॉर्मेट करना नहीं आता है.
उन्होंने कहा- विंडो की सीडी उनके घर पर है, जो इंस्टिट्यूट से दस मिनट की वाकिंग डिस्टेंस पर है.

मैंने कहा- ठीक है. फिर आपके घर ही चलूँगा, अगर आपको कोई ऐतराज़ ना हो तो!
उन्होंने स्माइल देते हुए कहा- कोई प्रॉब्लम नहीं है.
और बताया कि दिन में 12 से 4 उनका इंस्टिट्यूट क्लोज रहता है, उस टाइम पर वो घर जाएँगी.

मैंने कहा- ठीक है. मैं 12 बजे इंस्टिट्यूट अपना लैपटॉप लेकर आ जाऊंगा.

12 बजे जब सर की वाइफ इंस्टिट्यूट से बाहर निकली तो वो इधर-उधर देख रही थी. मैं भी जानबूझकर पास में शॉप के अन्दर छुप रहा था, उनका रिएक्शन देख रहा था.
फिर जब वो लॉक लगा रही थी, मैं उनके वहाँ पहुँच गया.
उन्होंने मुझे जब देखा तो स्माइल देते हुए कहा- मुझे लगा कि तुम नहीं आ रहे!
मैंने कहा- आना तो मुझे था ही, जरुरी काम जो है. मेरा मतलब लैपटॉप ठीक करवाना है.

वो मंद-मंद मुस्कुरा रही थी.
अब मुझे क्लियर था कि उनके घर में अब क्या-क्या ठीक होगा.

घर पहुँच कर उन्होंने कहा- मैं काफी थक गई हूँ, मैं शावर लेकर आती हूँ, तुम बैठो.
मैंने सिर्फ स्माइल दी और कुछ नहीं कहा.

5 मिनट बाद, जब वो बाहर निकली तो उन्होंने घर की ड्रेस पहनी थी और वो टॉवल से बालों को झाड़ रही थी. मैं बस उनको घूरे जा रहा था.
मैंने कहा- आप वास्तव में बहुत सुंदर हो.
उन्होंने मुझे कुछ नहीं कहा, बस मुझे देखकर स्माइल पास करने लगी.

मैं थोड़ा नर्वस था लेकिन बहुत हिम्मत करके मैं उठा और उनके पास गया. मैंने देखा कि वो भी बहुत नर्वस हैं.

मैंने हिम्मत करके उनके गाल पर किस दे दी. उन्होंने आँखें बंद कर ली थी.
फिर उन्होंने आँखें खोली और आगे बढ़ कर मुझे किस करने लगी.
मैं भी उसको किस कर रहा था, यह मेरा फर्स्ट टाइम था तो मेरी ख़ुशी चरम सीमा पर थी कि मेरा फर्स्ट सेक्स सक्सेसफुल रहा और मैं थोड़ी देर ऐसे ही उनके पास लेटा रहा.

फिर मैंने उनके गालों को, गले को चूमने लगा. वो भी सिसकारियाँ लेने लगी ‘उम्म्ह… अहह… हय… याह…’
मेरे से और कण्ट्रोल नहीं हो रहा था, मैं उनके कपड़े उतारने लगा. उनका टॉप उतारने के बाद, मेरी नजर उनकी चूचियों पर गई, उन्होंने ब्रा नहीं पहनी हुई थी. मैं पागलों की तरह उनके ब्रैस्ट को चूसने और साथ-साथ हाथों से मसलने लगा. फिर मैंने चूची चूसते-चूसते अपने हाथ उनकी सलवार पर डाले और उनकी सलवार को निकाल दिया. उन्होंने पेंटी भी नहीं पहनी थी. इससे मैं समझ गया कि इनके अन्दर कितनी आग है सेक्स के लिए…
उन्होंने शावर लेने के बाद कुछ भी अन्दर नहीं पहना था और उन्हें भी अनुमान था कि मेरी इंटेंशन क्या थी पहले से ही!

मैंने अपनी एक उंगली उनकी चूत में डाल दी. उनकी चूत बहुत ही ज्यादा गीली थी, गीली होने के कारण वो आसानी से अन्दर चली गई, मैंने देखा कि उनका छेद बड़ा है और मेरी एक उंगली से उनका कुछ नहीं होगा.
मैंने अपनी बीच की दोनों उंगली उनकी चूत में डाल दी और अन्दर बाहर करने लगा.

अब वो जोर जोर से सिसकारियाँ लेने लगी. मैं उन्हें अब पागलों की तरह किस करने लगा.
यह हिंदी सेक्स स्टोरी आप अन्तर्वासना सेक्स स्टोरीज डॉट कॉम पर पढ़ रहे हैं!

थोड़ी देर इस पोजीशन में रहने के बाद उन्होंने कहा कि उन्हें नीचे बहुत खुजली हो रही है.

मैं समझ गया कि अब वो मेरे लंड को मांग रही है. मैंने जल्दी-जल्दी अपने कपड़े निकाले. अब बस मैं अंडरवियर में रह गया था जो किसी टेंट की तरह तना हुआ दिख रहा था.
उससे रहा नहीं गया और उन्होंने मेरा अंडरवियर नीचे खींच दिया, मेरे लंड को अपने हाथ में लेकर कसकर पकड़ा और उसे चूसने लगी.
अब मैं भी उसकी चूत को चाट रहा था.

थोड़ी देर बाद उन्होंने कहा कि उनसे और नहीं रहा जा रहा है.
मैं सोचता था कि फर्स्ट टाइम सेक्स करूं तो मेरा फर्स्ट पोस्चर खड़े होकर सेक्स करने वाला हो. इसमें मैं खड़ा रहूँ और उन्हें अपनी गोदी में उठाकर सेक्स करूं. उनका वजन भी ज्यादा नहीं था, तो यह पोस्चर मेरे लिए आसान था.
मैंने उनका लेफ्ट पैर अपने राईट शोल्डर पर रखा और उनका राईट पैर अपने लेफ्ट शोल्डर पर.
फिर मैंने उन्हें कहा कि वो अपने दोनों हाथों से मुझे मेरी गर्दन से कस के पकड़ लें.

वो मेरे कहे मुताबिक काम कर रही थी और मैं उनके उठा-उठाकर सेक्स करने लगा. उनकी चूत काफी गीली थी और मेरा लंड बार-बार फिसल रहा था. इस पोस्चर में हम दोनों के हाथ एक दूसरे से गुत्थम गुत्था थे. तो मुझे अपने लंड को सीधा रखने में परेशानी हो रही थी. लेकिन हम दोनों को मज़ा आ रहा था और हम दोनों का मज़ा चरम सीमा पर था.

फिर, उन्होंने मुझे घोड़े की तरह चोदने की इच्छा जताई. मैंने उनको गोद में उठा लिया और गोद में लिए-लिए ही पलग पर सीधा लेट गया. उन्होंने मेरी छाती पर अपने हाथों से सपोर्ट लिया और अपनी गांड को उछाल कर मेरे लंड से चुदने लगी.
मैं भी अपनी जांघे उठाकर अपने लंड को उनकी चूत में डाल रहा था.

अब मैं झड़ने की चरम सीमा पर था और उनकी चूत में झड़ गया. लेकिन मेरी हवस अभी पूरी नहीं हुई थी. मैंने उसे मेरा लंड चूसने को बोला और थोड़ी देर में, मेरा लंड फिर खड़ा हो गया और मैंने उसकी अलग-अलग पोस्चर में चुदाई की.
मेरी सेक्सी स्टोरी पर अपने विचार भेजना.

[email protected]

What did you think of this story??

Comments

Scroll To Top