कॉलेज गर्ल से उसके बॉयफ्रेंड के सामने गांड चटवाई
(BDSM Threesome Porn Kahani)
थ्रीसम पोर्न कहानी में मैंने कॉलेज के एक GF BF को चुदाई की तैयारी करते पकड़ लिया. उन्हें देख कर मेरा सेक्स भी जाग गया. पढ़ें कि मैंने उन दोनों को नंगा करके कैसे BDSM मजे लिए.
यह कहानी सुनें.
दोस्तो, मैं सिमरन अपनी अगली हॉट सेक्स स्टोरी लेकर आ गई हूं।
इस बार इस थ्रीसम पोर्न कहानी में मैं बताऊंगी कि एक कॉलेज में जब मैं हायरिंग करने के लिए गई हुई थी तो एक फ्रेश ग्रेजुएट कपल के साथ कैसे हॉट BDSM सेक्स का मजा लिया।
मैं साउथ दिल्ली के एक जाने माने कॉलेज में गई हुई थी।
वहां पर मुझे एक मीटिंग अटेंड करनी थी जो तीन फेज में होनी थी, जिसमें स्टूडेंट्स का चुनाव किया जाना था।
हर पड़ाव के बीच में एक घंटे का अंतराल दिया गया था।
मेरी टीम ने पहली दो मीटिंग अच्छी तरह अटेंड कर ली थी।
लेकिन तीसरी मीटिंग को अगले दिन के लिए आगे बढ़ा दिया गया।
हम लोग वहां से निकलने लगे तो एक लड़की मुझसे टकरा गई।
जल्दी जल्दी में वह मुझसे टकरा गई थी।
वह बहुत तेज चली आ रही थी लेकिन मुझे सॉरी कहने, या मेरी खैरियत पूछने की बजाए उसने मुझे बुरा-भला कहा और वहां से निकल गई।
मेरे मन में भी गुस्सा था।
पूरी रात मैं यही सोच रही थी कि काश ये लड़की कल की मीटिंग में दोबारा मुझसे टकरा जाए … तो मैं उसे मजा चखा दूंगी।
अगले दिन हम कॉलेज पहुंचे और मीटिंग शुरू हुई।
मैं टॉप फ्लोर पर थी और ब्रेक के बीच में कॉलेज की सर्विसेज का मुआयना कर रही थी।
दूसरी मीटिंग के बाद लंच टाइम था तो मुझे बाथरूम जाना था।
उस फ्लोर पर उस वक्त कोई भी नहीं था, वहां पूरा सुनसान था।
ऊपर एक हॉल जैसा कॉरिडोर बना था जो मुझे बहुत अच्छा लग रहा था।
ऐसी वीरान जगहें मुझे पसंद हैं और मुझे वहां अच्छी हॉर्नी फीलिंग आ रही थी।
मैं बाथरूम में जाकर पैंटी उतारकर बैठने ही वाली थी कि मुझे वहां किसी की मंद आवाज सुनाई दी।
ऐसा लग रहा था जैसे कोई धीमी आवाज में झगड़ा कर रहा हो।
जल्दी से मैंने अपनी पैंटी ऊपर की और बाहर निकल कर देखने की कोशिश की कि आवाज कहां से आ रही है।
वो आवाजें फ्लोर पर बने आखिरी कमरे से आ रही थीं जो कि वॉशरूम से अगला ही था।
मैं दबे पांव माजरा देखने गई कि आखिर कौन हरामी यहां वीराने में झगड़ा करने आया हुआ है।
मैंने देखा कि कॉलेज का ही एक लड़का और एक लड़की आमने सामने खड़े हुए थे।
वे काफी जल्दी में थे और घबराए से भी लग रहे थे।
यह वही लड़की थी जिसने कल मुझसे बदतमीजी से बात की थी।
मैंने उसको पहचान लिया।
मुझे लगता था कि इत्तेफाक केवल कल्पना में ही होते हैं … लेकिन मेरे साथ सच में ही हो गया था।
वह लड़की वहां से निकलने की कोशिश कर रही थी लेकिन लड़का बार बार उसका हाथ पकड़ कर खींच लेता और उसे रोकने की कोशिश कर रहा था।
लड़का- यहां से जाने की हिम्मत मत करना तुम …
लड़की- मैंने कहा ना कि हम ऐसे खुले में सेक्स नहीं कर सकते हैं … बहुत रिस्की है!
लड़का- लेकिन इस वक्त यहां पर कोई नहीं आने वाला है। जल्दी करो, हमें निकलना भी है।
वह लड़की उस लड़के की तरफ ऐसे देख रही थी जैसे कि वो उसकी इज्जत ही नहीं कर रहा हो।
लड़का अभी मैच्योर नहीं लग रहा था।
वह उस लड़की को खींचकर अपनी तरफ करने ही वाला था कि मैंने जाकर उसका हाथ पकड़ लिया।
मैं- रुको जरा भई! शायद तुम्हें यहां नर्मी से पेश आना चाहिए। और ये लड़की तो मेरी भी दुश्मन है।
कहते हुए मैंने आंख मार दी.
मेरी मदहोश कर देने वाली आवाज सुनकर और मेरे टॉप के ऊपर से मेरी क्लीवेज देखकर वो लड़का ठहर सा गया।
उसे शायद मेरी बात का यकीन हो गया था।
मैं- मैं जानती हूं कि तुम भी इस लड़के के लंड का मजा लेना चाहती हो। इसमें कोई गलत बात भी नहीं है, लेकिन इसे सही तरीके से नहीं किया जाता है तो फिर बाद में प्रॉब्लम खड़ी हो सकती है।
लड़के को अहसास हो गया कि मैं कॉलेज स्टाफ में से नहीं थी इसलिए उसे डरने की भी कोई जरूरत महसूस नहीं हो रही थी।
मैं- रंडी वाला बर्ताव है तुम्हारा, और तुममें इतना घमंड क्यों है लड़की? कल ही तुमने मुझे भी ‘बिच’ कहा था, जबकि उस वक्त गलती तुम्हारी थी।
लड़का- मैडम, मेरा पहले से ही खड़ा हुआ है. और आपके आने से मैं और ज्यादा बेकाबू होता जा रहा हूं।
वह लड़का बहुत बेबाक था, मुझे ये अच्छा लगा।
मैंने उसे स्माइल दे दी।
मैं- मैं भी देखना चाहती हूं कि इस कॉलेज की लड़कियों में कुछ बात है भी या नहीं, ये कितनी सुंदर हैं, मुझे भी देखना है। तो अब अपने कपड़े उतारो।
लड़की- क्या! पागल हो गई हो तुम? ये क्या बोल रही हो? यहां पर ये सब करने में कितना रिस्क है!
मैं- क्यों नहीं? ये तुम्हारा बॉयफ्रेंड है, तुम इसके साथ सेक्स करती हो, मैं भी एक लेडी हूं, तो यहां तुम्हारा कुछ जा थोड़े रहा है?
लड़की- तुम निकलो रंडी!
जैसे ही उसने दोबारा से मुझे रंडी कहा, मैंने उसके मुंह पर तमाचा मार दिया।
मैंने जाकर उसका हाथ पकड़ लिया।
उसने लैगिंग पहनी हुई थी।
मैंने उसमें हाथ दे दिया और पैंटी में हाथ ले जाते हुए उसकी चूत को मसलने लगी।
कुछ ही पल में उसको मजा आने लगा और उसने विरोध करना बंद कर दिया।
अब वह इसका मजा लेने लगी।
मैं- कपड़े उतार लड़के तू भी … चलो साथ में चुदाई का मजा लेते हैं आज!
उस लड़के ने जल्दी से अपने कपड़े उतार फेंके।
उसका लंड तना हुआ था और वह उसकी मुठ मारने लगा।
फिर वह उस लड़की की लैगिंग खींचने लगा।
मैं- नहीं मिस्टर! जब तक मैं यहां हूं, तुम इसे हाथ नहीं लगाओगे। बल्कि इसके सामने तुम्हें मुझे प्यार करना है, मेरा ख्याल रखना है। उसकी बजाए मेरी लैगिंग निकालो।
मेरी पजामी उतारते हुए वह मेरी मोटी गांड को घूरने लगा।
उसकी नजरें वहीं टिक गईं।
वह मेरे निचले बदन पर हाथ फिराने लगा और धीरे धीरे गांड पर चपेट मारने लगा।
इतने में मैंने लड़की को नंगी कर लिया।
उसका फिगर सच में कमाल था।
अपनी उम्र के हिसाब से उसका फिगर बहुत सेक्सी था।
मैं लगातार उसकी चूत में उंगली चला रही थी जिसका उसे पूरा मजा मिल रहा था।
लड़के से बोली मैं- तुम्हें किसकी बॉडी ज्यादा पसंद है, मेरी या इसकी?
लड़के ने कोई जवाब न दिया और बार बार उस लड़की की फिगर को देखता रहा।
शायद वह नहीं चाहता था कि लड़की बुरा मान जाए।
लेकिन लड़की समझ गई कि उस लड़के को किसकी बॉडी ज्यादा अच्छी लग रही थी।
इसलिए वो मुंह बनाने लगी।
मैं- अब अपने चारों पंजों पर आकर मेरे पीछे आओ. और लड़के, तुम इसके पीछे आओ।
मैंने चूत से उंगली निकाल ली थी जिससे उस लड़की का मजा किरकिरा हो गया था।
अब मैं कमरे में धीरे धीरे आगे चलने लगी।
मेरी गांड में उस लड़की की नाक घुसी हुई थी।
और पीछे पीछे वह लड़का अब लड़की की गांड में नाक रगड़ते हुए घुटनों के बल रेंग रहा था।
मैं- उसकी गांड पर जरा थप्पड़ तो लगाओ, मैं भी तो देखूं इसके मुलायम चूतड़ कैसे उछलते हैं।
मेरे कहने पर लड़के ने उस लड़की की गांड पर तमाच मारा।
जिससे कमरे में मस्त आवाज गूंजी।
लड़का जानता था कि उसकी सिसकारी कैसे निकलवानी है और उसकी चूत में गीलापन कैसे लाना है।
मैं भी अपनी गांड को उस लड़की के मुंह पर हिला रही थी।
हालांकि उस लड़की को मेरा ऐसा करना चिड़चिड़ा बना रहा था लेकिन फिर वह याद कर लेती थी कि हमारी पहली मुलाकात कैसे हुई थी।
मुझे लड़की को चिढ़ाने में बड़ा मजा आ रहा था- कुतिया, देख कर चल ले, इतनी बड़ी गांड नजर नहीं आ रही है क्या तुझे?
अब उस लड़के को भी कुछ मजेदार करने का मन कर रहा था।
वह लड़की की गांड पर तमाचे मारने लगा और तेजी से उसकी चूत को रगड़ने लगा।
लड़का- कहां जा रही हो तुम? इतनी मस्त गांड तुम्हें दिखाई नहीं दे रही? मुझे पता है कि ये गांड देखकर तुम्हें कितनी जलन हो रही होगी। लेकिन इसे इज्जत दो।
फिर मैंने लड़की को खड़ी होने के लिए कहा।
वह मेरी बराबर में खड़ी हो गई।
मैंने लड़के से दोनों की बॉडी की तुलना करने को कहा.
तो उस ठरकी ने मेरी ही तारीफ के पुल बांधे।
मैं- तुम्हारे हिसाब से किसकी गांड ज्यादा आकर्षक है? क्या तुम मेरी गांड को प्यार करोगे, या फिर इसे चोदोगे, जैसे इस रंडी की गांड चोदते हो?
मैं लड़की से बोली- तुम मेरी गांड पर मुंह लगाओ और इसे मजा दो। मैं चाहती हूं कि तुम्हें पता चले कि मेरे चूतड़ कितने कोमल हैं। अपने होंठ मेरी गांड के छेद पर लगाओ और इसे चूमो।
लड़की ने मुस्करा कर अपना मुंह मेरी गांड में लगा दिया।
इस बीच लड़के ने अपने लंड को अपनी गर्लफ्रेंड के सिर के पीछे सटा दिया और उसकी नाक को मेरी गांड में धकेलने लगा।
मै- आह् किस करो इसे! तुम्हें अब पता चलेगा कि दूसरे से बर्ताव कैसे करना चाहिए और घमंड क्यों नहीं दिखाना चाहिए।
अब कुछ देर मजा लेने के बाद मैंने उसे खड़ी होने के लिए कह दिया।
मेरी चूत भी अब गीली हो चुकी थी।
जब वह उठ रही थी तो उसका पैर फिसल गया और उसने गिरने से बचने के लिए मेरी गांड को थाम लिया।
मुझे बहुत तेज उत्तेजना होने लगी।
मैं लगभग भूल ही चुकी थी गांड पर थप्पड़ मरवाने में जो उत्तेजना होती है, वो कैसी होती है।
अब लड़के ने उस लड़की की गांड के पीछे अपना लंड सटा दिया।
मैंने एकदम से अपनी चूत को उस लड़की की चूत पर सटा दिया और चूत पर चूत को रगड़ने लगी।
आह्ह … बहुत मजा आ रहा है इसमें … कहते हुए वह कॉलेज गर्ल सिसकारने लगी।
चूत पर चूत रगड़े खाते देख वह लड़का भी अपने लंड को उसकी गांड पर रगड़ने लगा।
हम दोनों अब चूत की रगड़ाई के नशे में डूबने लगी थीं।
लड़की की चूत से रस निकलने लगा था जो मेरी चूत के रस से मिलकर बहुत ही मदहोश कर देने वाली खुशबू पैदा कर रहा था।
मैं लड़के से- अपनी गर्लफ्रेंड के मुंह पर माल छोड़ दो। उसके बाद चाहे फिर ये किसी के पास जाकर भी चुदे!
अब मैंने अपनी चूत को उस लड़की की गांड पर सटा दिया।
आगे से लड़के ने अपना लंड उसकी जांघों के बीच डाल दिया और उसे चोदने लगा।
कुछ ही देर के बाद उसने अपना माल पीछे आते हुए उसकी गांड की खाई में गिरा दिया।
मैं- ये सब होते हुए देखकर मुझे बड़ी खुशी हुई! अब जाओ और जाकर चुदो। दिन-रात लंड पर उछलती रहो। मुझे कोई फर्क नहीं पड़ता।
और थ्रीसम पोर्न के बाद मैं वहां से फिर चल दी।
वह लड़का फिर मीटिंग में मेरे अन्य सहयोगियों के साथ शामिल हो गया।
हमने मीटिंग पूरी की।
उसके बाद कॉलेज स्टाफ ने चुने हुए सभी स्टूडेंट्स को बुलाया।
मुझे खुशी हुई यह देखकर कि वह लड़की भी उन स्टूडेंट्स में शामिल थी।
अब मैं उसके साथ और भी बहुत कुछ कर सकती थी।
तो अब आप लोग कमेंट सेक्शन में कमेंट करके मुझे बताएं कि आपको यह थ्रीसम पोर्न कहानी कैसी लगी और मुझे उस लड़की के साथ और किस-किस तरह से मजा करना चाहिए।
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