भतीजे ने मिटाई चूत की प्यास- 1
(Hot Chachi Sexy Kahani)
हॉट चाची सेक्सी कहानी में पढ़ें कि मैं एक अमीर घर की बहू हूँ और सेक्स पसंद करती हूँ. मेरे जेठ के बेटे के साथ मेरे दोस्तों जैसे सम्बन्ध थे, हम खूब बातें करते थे.
मैं श्वेता सिंह, मेरी उम्र 38 साल है। मैं ग्वालियर की रहने वाली हूं। मैं एक पढ़ी लिखी और मॉडर्न सोच रखने वाली महिला हूं.
मैंने बायोलॉजी में मास्टर्स डिग्री की पढ़ाई की है और मैं कोचिंग सेंटर में बायोलॉजी पढ़ाती हूं।
मेरी काया का आकार 34B-28-36 और हाइट 5’4″ है।
अपना फिगर मेंटेन रखने के लिए 28 साल की उम्र से मैं हर रोज जिम जाती हूं.
मेरे परिवार में कुल 8 लोग हैं, मेरे पति, उनके बड़े भैया-भाभी उनके दो बच्चे, और छोटा भाई उनकी बीवी.
सब लोग एक साथ रहते हैं.
हम खानदानी अमीर लोग हैं।
गांव में हमारी 150 एकड़ जमीन, ट्रांसपोर्ट कंपनी, प्रॉपर्टी डीलिंग ऐसे अलग अलग कारोबार हैं.
मेरी जेठानी रेखा और देवरानी नीता दोनों सगी बहनें है.
यह हॉट चाची सेक्सी कहानी मेरी और मेरे भतीजे आदित्य की है.
आदित्य की उम्र 23 साल है. वह 6’2″ का हट्टे कट्टे बदन वाला, पढ़ाई में बहुत होनहार और हमेशा अव्वल नंबर से पास होने वाला एक सुशील लड़का है.
अभी वह दिल्ली में सॉफ्टवेयर इंजिनियरिंग के फाइनल ईयर में है.
आदित्य और मैं हमेशा से एक दूसरे के करीब रहे हैं, हमारा रिश्ता बिल्कुल दोस्तों जैसा है, एक दूसरे से ढेर सारी बातें करना, हँसी मजाक करना हमारे बीच सामान्य है.
ग्यारहवीं कक्षा में वह पढ़ने के लिए कोटा चला गया था.
हुआ यूं कि मेरी जेठानी के भाई की शादी 30 मार्च 2020 को जयपुर में होनी थी.
वे दोनों बहनें (रेखा और नीता) जेठजी और सोनू (मेरी भतीजी) को साथ लेकर 1 मार्च को ही अपने मायके जाने वाली थी.
उस समय आदित्य JEE की कोचिंग के लिए कोटा में था. JEE एग्जाम का यह उसका तीसरा अटेम्प्ट था.
उसे खाने पीने के लिए कोई परेशानी ना हो इसलिए उसकी मां उसके साथ रहती थी.
अब उसकी देखभाल के लिए उसके मां ने मुझे कोटा जाने के लिए कहा.
मैंने हां कह दी.
वहां पर मुझे तकरीबन 20-25 दिन रहना था.
इस हिसाब से मैंने अपने कपड़े पैक किए.
अब अगले दिन 2 मार्च को सुबह पीले रंग की साड़ी और लाल ब्लाउज, एक हाथ में लाल चूड़ियां दूसरे में घड़ी, कानों में झुमके, गले में चैन, पैरों मैं एक हाई हील की सैंडल पहन, बाल खुले छोड़ मैं जाने के लिए तैयार थी।
तकरीबन 7 बजे अपनी कार से मैं ग्वालियर से निकली.
सफर लंबा था, मैं 6-7 घंटे में कोटा पहुंच गई.
क्योंकि मैं कोटा में पहली बार आई थी तो मुझे वहां के बारे में कुछ जानकारी नहीं थी.
फ्लैट का पता पूछने के लिए मैंने आदित्य को फोन किया तो उसने मुझे मोबाइल पे अपनी लाइव लोकेशन भेज दी.
मोबाइल में लोकेशन देखते हुए मैं बिल्डिंग में पहुंच गई.
वह नीचे गेट पर मेरी राह देख रहा था.
बीच बीच में हमारी फोन पर बात होती रहती थी लेकिन हम दोनों एक दूसरे को करीब तीन साल बाद मिल रहे थे.
जैसी ही मैं कार से बाहर आई, हम एक दूसरे को देखते ही रह गए.
आदित्य पूरी तरह से बदल गया था, चेहरे पर दाढ़ी, सिक्स पैक एब्स की वजह से वह बहुत ज्यादा हैंडसम लग रहा था।
उसने पढ़ाई के साथ साथ अपने शरीर का भी पूरी तरह ध्यान रखा था.
ना जाने क्यों, मुझे उसके लिए कुछ अलग की आकर्षण हो रहा था और मैं उसे लगातार देखे जा रही थी.
वह बोला- हाय चाची, कैसी हो?
“हेलो बेटा, मैं तो एकदम बढ़िया हूं. तुम अपना बताओ?”
“मैं भी ठीक हूं चाची!”
“तुम तो पूरी तरह बदल गए. लगता है तुम्हें कोटा का पानी कुछ ज्यादा ही सूट कर गया!”
“हाँ चाची, कोटा मुझे पसंद आ गया है.”
वह बोला- यह सब जाने दीजिए, आपका सफर कैसा रहा, ये बताइए?
“सफर तो बहुत अच्छा था.”
“और हाँ आपको बिल्डिंग ढूंढने में कोई तकलीफ तो नहीं हुई ना?”
“शहर में नई होने की वजह से थोड़ा समय लगा.”
“और बताइए घर में सब कैसे हैं?”
“अरे, अब क्या सारी बातें यहीं करेगा, मुझे घर नहीं लेकर जाएगा?”
“माफ़ करना चाची, बहुत दिन से आपको मिला नहीं … और घर भी नहीं आया. तो बातों बातों के चक्कर में भूल गया कि हम पार्किंग में हैं.”
“चल कोई बात नहीं!”
आदित्य ने गाड़ी में रखा सारा सामान बाहर निकालकर गाड़ी लॉक की.
अब हम लिफ्ट से उसके फ्लैट की तरफ जा रहे थे जो छठी मंजिल पर था.
फ्लैट के अंदर आकर मैंने उसे गले लगाया और प्यार से उसके गाल पर किस किया और फ्लैट देखने लगी.
वह एक फुल्ली फर्निश 2 BHK फ्लैट था.
वहां पर घर में लगने वाली हर एक चीज जैसे टीवी, फ्रिज, वाशिंग मशीन, ओवन, सोफा सेट, डाइनिंग टेबल सब कुछ था।
15-20 मिनट बातें करने के बाद उसने मेरा सारा सामान दूसरे कमरे में रखा और मुझे फ्रेश होने के लिए कहा.
मैं कमरे में जाकर अपना सामान लगाने लगी.
नहाकर मैं फ्रेश हुई और मेहंदी रंग का कुर्ता, सफेद पजामा पहन, हल्का सा मेकअप करके बाहर आई.
उस समय आदित्य अपने कमरे में पढ़ाई कर रहा था.
मैं हम दोनों के लिए कॉफी लेकर आदित्य के कमरे में गई.
दरवाजा बंद था, मैंने नॉक किया.
तब उसने दरवाजा खोला, मुझे अच्छे से देखा और अंदर आने को कहा.
मैं अंदर गई तो उसने मुझे बेड पर बैठने के लिए कहा और खुद भी मेरे पास बैठ गया, बोला- मुझे कह रही हो कि मैं बदल गया हूं. सच कहूं तो बदल तो आप गई हो!
“अच्छा बेटा, ऐसा क्या देख लिया जो मैं तुम्हें बदली बदली सी लग रही हूं?”
“पहले से ज्यादा खूबसूरत हो गई हो आप!”
मैंने उसे ‘थैंक यू’ कहा.
वह बोला- चाची शायद अगले दो तीन दिन में किचन का सारा जरूरी सामान खत्म हो जाएगा तो हमें आज ही मार्केट जाना होगा.
“ठीक है, हम 6 बजे चले जायेंगे.”
उसने “हां” कहा.
मैंने किचन में जरूरी चीजों की लिस्ट बनाई.
फिर मैं लाल रंग का कट कुर्ता, काला जीन्स पहनकर तैयार हुई और आदित्य को आवाज लगाई.
वह अपने कमरे से बाहर आया, मुझे ऊपर से नीचे तक ध्यान से देखते हुए बोला- चाची, आप तो बहुत क्यूट लग रही हो!
शायद उसे क्यूट की जगह सेक्सी कहना था लेकिन डर के मारे नहीं कह पाया.
मैं उसके तरफ देख कर मुस्कुराई.
वह बोला- शाम के समय ट्रैफिक ज्यादा रहता है तो बाइक से जाना ही हमारे लिए ठीक होगा.
मैंने हां कर दी.
कोचिंग आने जाने के लिए हमने उसे एक स्पोर्ट्स बाइक दिलाई थी.
मैं लड़कों की तरह दोनों तरफ पैर कर अपने दोनों हाथ उसके कंधे पर रख कर बैठ गई.
ब्रेक लगने पर मेरे मम्मे उसकी पीठ को टच कर रहे थे, मुझे थोड़ा अजीब लगने लगा.
लेकिन शायद वह इस बात का मज़ा ले रहा था.
20 मिनट में हम मार्केट पहुंच गए, सामान लिया और घर आ गए.
अभी 8 बज रहे थे.
हमने खाना खाया और मैं थोड़ी देर टीवी देखने लगी.
मैंने एक बात नोटिस कि ना तो हॉल में ए सी है ना दूसरे कमरे में … तो मैं सोऊंगी कहाँ? मुझे तो बिना ए सी के बिल्कुल नींद नहीं आती.
तभी आदित्य बोला- चाची, यहां सिर्फ एक ही कमरे में ए सी है. तो आप वहां सो जाओ, मैं हॉल में सो जाऊंगा.
“अरे नहीं बेटा, तुम इतनी गर्मी में यहां बिना ए सी के कैसे सो पाओगे. और एक दो दिन की बात होती तो ठीक था. लेकिन हमें और 25 दिन साथ रहना है, इसलिए हम दोनों तुम्हारे की रूम में सोना होगा.”
“ठीक है चाची!”
10 बज रहे थे और मुझे नींद आ रही थी.
मुझे शुरु से सोते समय शॉर्ट्स और टी शर्ट पहन कर सोने आदत है.
मैंने गुलाबी रंग का शॉर्ट्स और काली टीशर्ट पहन ली और सोने के लिए आदित्य के रूम में चली गई.
वह मुझे देखकर दंग रह गया और घूरने लगा.
मैंने पूछा- ऐसे क्या देख रहे थे, पहली बार थोड़ी ना तुम मुझे इन कपड़ों में देख रहे हो?
आदित्य- चाची, बहुत दिनों बाद आपको इस रूप में देखकर अपने आप मेरी नज़र तुम्हारे ऊपर चली गई.
मैं बोली- कोई बात नहीं!
उसने बताया कि वह 12 बजे तक पढ़ाई करता है और सुबह 6 बजे उठता है.
तभी उसने कहा- आप ऊपर बेड पे सो जाइए, मैं अपनी पढ़ाई खत्म कर नीचे सो जाऊंगा.
“अरे शरमा मत, भूल गया बचपन में तू मेरे साथ ही सोता था, हम दोनों ही बेड पर सोएंगे.”
दिन भर सफर करने की वजह से मुझे नींद आ रही थी.
वह अपने टेबल पर बैठ पढ़ाई कर रहा था, मैं उसकी तरफ पीठ कर सो गई.
लेकिन मुझे ऐसा लगा कि वह मेरी तरफ़ देख रहा है.
यह पक्का करने के लिए मैंने करवट ली.
अब मेरा मुंह उसकी तरफ था. मैंने बंद आंखों से उसकी तरफ देखा तो मेरा शक यकीन में बदल गया.
वह लगातार मुझे देखे जा रहा था.
मैंने उसे कुछ कहना ठीक नहीं समझा और मैं सो गई.
मैं समझ रही थी कि आदित्य भी मेरे कामुक शरीर को तरफ आकर्षित हो रहा था.
रात को जब थोड़ी देर के लिए आंख खुली तो हम दोनों एक दूसरे के पास थे और आदित्य का हाथ मेरे पेट के ऊपर था.
लेकिन वह गहरी नींद में था.
मेरे मन में अभी तक उसके लिए किसी भी प्रकार की भावना नहीं थी.
अगले दिन सुबह 6 बजे मेरी नींद खुली.
तब आदित्य जिम जाने के लिए तैयार हो रहा था.
मैं ग्वालियर में हर रोज जिम जाती हूं, यह बात आदित्य को भी पता है.
तो उसने मुझे पूछा- चाची, क्या आप अगले 25 दिन जिम से छुट्टी लेने वाली हैं?
“ना बाबा!”
“तो चलिए फिर मेरे साथ, मैं भी जिम जा रहा हूं.”
“ऐसे कैसे चलिए, जिम की फॉर्मेलिटी कौन पूरी करेगा?”
“मैं हूं ना, आप आने वाली हैं, यह पता चलते ही मैंने आपका रजिस्ट्रेशन अपनी जिम में करवा दिया. चलिए अब जल्दी से रेडी हो जाइए.”
“थैंक यू आदित्य, तुम्हें कितनी फिक्र है मेरी!” यह कहकर मैंने उसे कस के गले लगा लिया और गाल पर चूम लिया.
“इसमें थैंक यू वाली क्या बात है, जैसा आप मेरा ख्याल रखती हैं, वैसे ही मैं भी आपका ख्याल रखूंगा.”
मैंने उसे प्यार से देखा और अपने कपड़े चेंज करने के लिए चली गई.
काले रंग का ट्रैक सूट, ऊपर एक जैकेट और सफेद रंग के स्पोर्ट्स शूज पहन कर मैं जाने के लिए तैयार हो गई.
आदित्य मुझे उन कपड़ों में देखता ही रह गया.
देखे भी क्यों ना … मेरी पैंट थी ही इतनी टाइट कि अच्छे अच्छों की नजर मेरे ऊपर टिक जाए.
फिर हम बाइक से जिम पहुंच गए.
क्योंकि अब मैं वर्क आउट करने वाली थी तो अंदर जाते ही मैंने अपना जैकेट उतार दिया.
अब मैं सिर्फ एक स्लीवलेस टॉप जो मेरे छाती के थोड़े ही नीचे था और अपने स्किन टाइट पैंट में थी.
काले कपड़ों में मेरी गोरी त्वचा कुछ ज्यादा ही निखर रही थी.
जिम के सभी लड़के मुझे ही देख रहे थे.
और आदित्य भी!
मेरे लिए तो ये कपड़े सामान्य थे लेकिन आदित्य मुझे पहली बार इस रूप में देख रहा था.
इस वजह से उसका बुरा हाल हो गया.
उसने मुझे अच्छी तरह से देखा और बोला- अरे वाह चाची, आपने पैंतीस की उम्र में भी अपने आप को बढ़िया मेनटेन रखा है!
मैंने उसे थैंक यू कहा और अपना वर्क आउट चालू किया.
आदित्य वर्क आउट तो कर रहा था लेकिन उसका ध्यान पूरी तरह से मेरे ऊपर था.
8:30 बजे घर आकर मैंने घर के काम किए और आदित्य पढ़ाई करने के लिए अपने कमरे में चला गया.
11 बजे मैंने उसे खाने के लिए बुलाया.
हमने खाना खाया और फिर वह पढ़ने के लिए चला गया.
अब अगले 3-4 दिन हमारी दिनचर्या यही थी.
इन दिनों उसकी हरकतों से मैं समझ गई कि वह भी मुझे पसंद करने लगा है.
मैं पिछले 6 दिन से चुदी नहीं थी तो मेरी चूत की आग बढ़ने लगी.
मैंने सोचा वैसे भी यहां कोई भी हमें नहीं पहचानता तो मजा लेने में कोई परेशानी नहीं होगी.
मैं अपनी ओर से कोई हरकत नहीं करना चाहती थी.
पर उसे उकसाने के लिए मैं जानबूझ कर घर मैं और भी ज्यादा भड़कीले कपड़े पहनने लगी.
मेरे प्यारे दोस्तों, आपको यह हॉट चाची सेक्सी कहानी कैसी लग रही है?
कमेंट्स और मेल में बताएं.
[email protected]
हॉट चाची सेक्सी कहानी का अगला भाग: भतीजे ने मिटाई चूत की प्यास- 2
What did you think of this story??
Comments