बेकाबू हवस का अंज़ाम- 5

(Nude Indian Wife Xxx Kahani)

सनी वर्मा 2023-06-05 Comments

न्यूड इंडियन वाइफ Xxx कहानी में पति ने अपनी बीवी को दोस्त के साथ सेक्स करने के लिए प्रेरित किया. और एक दिन दोस्त को घर बुलाकर बीवी को दोस्त के हवाले कर दिया.

कहानी के पिछले भाग
चुद गयी पति के दोस्त से
में आपने पढ़ा कि हेमन्त के उकसाने पर रूपाली गौरव के साथ कामुक हरकतें करने लगी थी. और एक दिन पति की अनुपस्थिति में गौरव से चुद भी गयी.

अब आगे न्यूड इंडियन वाइफ Xxx कहानी:

अगले दिन गौरव ने रूपाली को बाजार में बुलाया और चुपके से गर्भ से बचने की दवाई दी।
असल में घर पर सुबह ही हेमन्त के साथ उसकी माँ आ गईं थीं।

रूपाली गुमसुम थी।
उससे जाने अंजाने में एक अपराध हो गया था।

पर आशिक़ी उस पर भी ऐसी चढ़ी थी कि एक दो दिन में ही वे नॉर्मल हो गयी और फिर गौरव और उसके बीच प्यार की पींगें बढ़ने लगीं।

अब गौरव ने उसे मेसेज किया कि अगले बार वे ऐसे रिस्क नहीं लेंगे और घर के बाहर प्यार करेंगे।

गौरव ने फिर उसकी वासना भड़का दी कि इस बार ज्यादा सम य लेकर करेंगे, ऊपर करेंगे, नीचे करेंगे, आगे करेंगे, पीछे करेंगे, 69 करेंगे।
और गौरव के प्यार में बहती रूपाली सब बातों को हाँ कहती गयी और हेमन्त से मन से दूर होती गयी।

गौरव हेमन्त को मोना की झूठी मूठी कहानी बता कर उकसाता रहता।

एक बार वे हेमन्त के ऑफिस में जाकर उसे मोना कि कुछ अर्धनग्न फोटो भी दिखा आया।
हेमन्त उसकी बातों में आता रहा और उसे घर बुलाता रहा।

अब हेमन्त की शह पर रूपाली गौरव के सामने बहुत दिखाऊ कपड़े भी पहन लेती।
गौरव कभी कभी उसे चूम भी लेता तो दिखावे को रूपाली उसे फटकरती तो हेमन्त ही उसे कह देता कि कोई बात नहीं, चलता है।
बस सेक्स ही हेमन्त ने उन्हें करने नहीं दिया था, बाकी चूमा चाटी, गले लगना तो आम बात हो है।

हेमन्त सोचता था कि रूपाली कितनी अच्छी है जो उसके कहने पर ये सब कर लेती है।
जब रूपाली पूछती कि तुम्हें क्या मिलता है तो हेमन्त कहता कि जिस दिन गौरव आता है, तुम उस रात जम कर सेक्स में मजा देती हो।
अब रूपाली क्या कहती कि वे तो उस समय गौरव को सोच कर उसके साथ सेक्स करती है।

वक्त ऐसे ही निकलता गया।

रूपाली और गौरव अपने मेसेज अलग अलग डायरियों में लिखते थे।
उनके ये प्रेम ग्रंथ दो-दो भर चुके थे।

गौरव को एक दो बार तो रूपाली ने हेमन्त से छिपकर एक एक दो दो लाख रुपए भी उधार दिये थे, जो गौरव बाद में लौटा भी देता था।

रूपाली का मन गौरव ने ऐसा बदला कि अब वे हेमन्त से मन से बहुत दूर चली गयी थी और गौरव के लिए पूरी तरह से समर्पित थी।

कुछ महीनों बाद रूपाली एक हफ्ते के लिए अपने मायके अजमेर गयी।
उसने गौरव को बता दिया था कि वह कुछ दिन के लिए अजमेर जा रही है।

अजमेर में भी रूपाली की बात हेमन्त से ज्यादा गौरव से होती।

अब दोनों के बीच रोमांटिक फिल्मी गीतों की लाइनें अदल-बदल होतीं।
गौरव ने दिमागी रूप से तो रूपाली को हेमन्त से छीन ही लिया था।

दोनों ने आपस में यह वादा कर ही लिया था कि इस जन्म में यदि संभव नहीं तो अगले जन्म में तो साथ साथ रहेंगे ही!
फर्क इतना था कि औरत दिल से प्यार करती है, तब यह कहती है.
लेकिन मर्द तो सिर्फ जिस्म का भूखा है, दूसरे की बीवी मुफ्त में मिल रही हो तो वह ये वादा क्या, वह तो आसमान से चाँद सितारे भी तोड़ लाने का वादा कर ले।

गौरव पीछे पड़ा हुआ था कि जल्दी वापिस आओ।
रूपाली ने कह दिया- इतनी मिलने की इच्छा है तो अजमेर आ जाओ।
गौरव बोला- अगर आ जाऊं तो मिलोगी न?

रूपाली ने सोचा कि ये कौन सा आने को है. तो उसने भी कह दिया- आ जाऊँगी।

गौरव अगले दिन वाकई अजमेर पहुँच गया और फोन किया रूपाली को!
अब रूपाली की मजबूरी थी; उसका दिल ज़ोर से धडक रहा था।
किसी ने उन्हें होटल में जाते देख लिया तो?
होटल के रिसेप्शन पर क्या कह कर उसे गौरव रूम लेगा।

उसने गौरव से कहा कि किसी रेस्तरां में मिलते हैं या वे घर ही आ जाये।
गौरव बच्चे की तरह जिद करने लगा।

खैर माँ से कुछ कपड़ों की रिपेयर का बहाना बनाकर एक बैग में कुछ कपड़े रखकर धड़कते दिल से रूपाली गौरव की बताई जगह पर पहुंची।

होटल में गौरव ने पहले ही मिसेज एंड मिस्टर गौरव अरोरा के नाम से रूम बुक कर रखा था।
रूपाली घबराती हुई गौरव के साथ रूम में पहुंची।

उनके बैग रखकर ज्यों ही बैल बॉय गया, गौरव ने दरवाजा लॉक किया और रूपाली को चिपटा लिया अपने से!
रूपाली बहुत डर रही थी।

गौरव ने उससे कहा- घबराओ नहीं, हम बिलकुल सेफ हैं।
रूपाली बोली- हम बहुत गलत रास्ते जा रहे हैं.
तो गौरव बोला- हेमन्त भी तो यही चाहता है, बस फर्क इतना है कि वे इस सबके बदले मोना चाहता है।

गौरव ने रूपाली को मोना की वे अर्धनग्न फोटो दिखाईं कि हेमन्त ने पीछे पड़ पड़कर उससे ये फोटो खिंचवाई हैं और अब देखने को मांग रहा है; पर मैंने नहीं दिखाईं।

अब रूपाली के ऊपर भी हेमन्त से विद्रोह और वासना हावी हो गयी थी।
उसने सब कुछ भूलकर अपने को गौरव को समर्पित कर दिया और चिपट गयी गौरव से!

गौरव ने आग में घी डालते हुए उसे और भड़काया यह कह कर कि हेमन्त से अपने घर तो संभलता नहीं, बस वह औरों की बीवियों को चोदने की फिराक में रहता है।
कामवासना और नाराजगी से ग्रसित रूपाली को यह भी समझ नहीं आया कि गौरव जो हेमन्त के लिए कह रहा है, खुद वह भी तो वही कर रहा है।

रूपाली पर तो इस समय हेमन्त से विद्रोह हावी हो गया था और उसने उसे दंड देने के लिए उससे बेवफाई का रास्ता चुना।
आज समय यद्यपि ज्यादा नहीं था पर कोई डर होटल के कमरे में नहीं था, बस चौकस रहना था उन्हें होटल बाहर जाते समय!

गौरव ने बिना देर किए रूपाली को बेड पर लिटाया और अपने जेब से एक सुंदर सी पाजेब निकाल कर रूपाली को पहना दी और उसके पैरों को चूम लिया।
फिर उसकी जींस नीचे खींच दी मय पैंटी के!

रूपाली कसमसा रही थी, चुदने को बेताब थी।
गौरव ने अपनी जींस भी उतारी और अपनी जीभ रूपाली की मखमली चूत में घुसा दी।

उसे बहुत अच्छा लगा यह फील करके कि रूपाली ने चुदाई के लिए अपनी चूत को आज ही चिकना किया है।
उसे हेयर रेमूवर की खुशबू आ रही थी।

रूपाली कांप गयी पर उसने अपनी फाँकें और चौड़ा दीं अपने हाथों से!
गौरव ने ऊपर खिसकते हुए उसके टॉप के ऊपर से ही उसके मम्मे दबाये।

थोड़ी देर चूत चुसाई के बाद गौरव रुका और रूपाली के रहे सहे कपड़े भी उतार दिये।
तो रूपाली ने भी उसको निपट नंगा कर दिया और बैठ कर उसक लंड मुंह में ले लिया।

गौरव को उसने ऐसा निचोड़ा कि गौरव को लगा कि वह उसके मुंह में ही ख़लास हो जाएगा.
तो उसने अपने को रूपाली से छुड़ा कर रूपाली को बेड पर लिटाया और उसकी टांगें चौड़ी करके ऊपर करके अपना मूसल घुसेड़ दिया उसकी चूत में!

रूपाली चहुंकी- धीरे धीरे करो, अगर फट गयी तो क्या जवाब दूँगी हेमन्त को?
गौरव ने हेमन्त को गाली देते हुए कहा- साले से अपनी तो चोदी नहीं जाती, दूसरे की पर निगाह रखता है।

रूपाली बोली- छोड़ो उसकी बातें, तुम तो बस मुझे प्यार करो, जो करना है जल्दी करो, ज्यादा देर यहाँ रुकना ठीक नहीं।

गौरव ने अपनी स्पीड बढ़ा दी।
रूपाली हाँफने लगी।
उसे और मजे लेने थे तो उसने अपने को गौरव से छुड़ाया और गौरव को नीचे लिटाकर चढ़ गयी उसके ऊपर और लगी उसको उछल उछल कर चोदने!

नीचे से गौरव उसके मम्मे दबा रहा था और उछल भी रहा था.
ताबड़तोड़ चुदाई का राउंड जल्दी ही निबट गया।
गौरव का सारा माल रूपाली की चूत से निकालकर गौरव के पेट पर फेल गया था।

दोनों मुसकुराते हुए वाशरूम में घुस गए।

शावर लेकर बाहर आते ही रूपाली जाने की जल्दी करने लगी।
गौरव एक राउंड और चाहता था पर रूपाली ने मना कर दिया क्योंकि उसे बहुत डर लग रहा है।

कपड़े पहन कर पहले बाहर गौरव गया।
पोर्टिको में पहुँचकर उसने रूपाली को फोन किया कि कोई नहीं है, आ जाओ।

पर जैसे ही रूपाली रिसेप्शन पर पहुंची तो उसने देखा कि उसके भाई के एक दोस्त वहीं खड़े किसी से बात कर रहे हैं।
रूपाली का दम सूख गया।
वह तुरंत पलट कर दूसरे रास्ते से बचते हुए पैदल ही सड़क की तरफ गयी और बिना गौरव का इंतज़ार किया एक टैक्सी रोककर बैठ कर चली गयी।
बाद में उसने गौरव से कसम देकर कहा कि आज के बाद ऐसा रिस्क कभी नहीं लेंगे। ये बस आखिरी था।

इसके बाद गौरव और रूपाली नजदीक आते गए।
पर केवल फोन तक ही सीमित रहे।

गौरव तो उससे ऐसे ही बात करता जैसे वे उसकी पत्नी हो।
हालांकि रूपाली इतनी बहकी हुई नहीं थी, पर हाँ उसे गौरव की बातें अच्छी लगतीं।

गौरव उसे हेमन्त से दूर करता चला जा रहा था।

पर किस्मत की मार, गौरव का व्यापार चौपट हो गया और पूरा घर बंट गया।
गौरव को अपनी पत्नी और बच्चों के साथ अपनी ससुराल आगरा शिफ्ट होना पड़ा।

वहाँ गौरव ने कोई छोटा मोटा व्यापार शुरू किया और मोना ने एक बुटीक खोल लिया।
मोना के मायके वाले पैसे वाले थे; उन्होंने मोना को उसके नाम से एक फ्लेट खरीद कर दे दिया।
उनके खर्चे के लिए आमदनी पर्याप्त थी.

पर गौरव की आशिक़ी में कोई कमी नहीं थी।
वह जब भी गुरुग्राम आता अपने माँ-बाप के घर, तो रूपाली से चोरी छिपे मिलने का प्रयास करता।

हेमन्त को उसने बेवकूफ बना रखा था।
वह जब भी मोना के साथ आता, तो किसी बहाने से मोना को हेमन्त के ऑफिस ले आता, बाद में रूपाली को बताता कि हेमन्त पीछे पड़ा थ मोना को मिलाने के लिए!
रूपाली और भड़कती। रूपाली ने अब कॉपर टी लगवा ली थी, जिससे अनचाहे गर्भ का खतरा खत्म हो गया।

हेमन्त ने एक बार आगरा घूमने का प्रोग्राम बनाया और गौरव को आगरा में रात को होटल में मिलने बुला लिया।
रूपाली को उसने पहले बता दिया था कि आज रात को गौरव आएगा।

इस पर रूपाली ने पूछा- क्यों?
तो हेमन्त ने उसे प्यार करते हुए समझा दिया- कुछ खास नहीं, ऐसे ही बुलाया है, बस साथ डिनर करेंगे और मस्ती करेंगे।

इधर गौरव रूपाली को पहले ही कसम दे चुका था कि अगर हेमन्त कहे तो तुम मना मत करना। जब हेमन्त चाहता है कि वे तीनों एक साथ सेक्स करें तो एक बार हो जाने दे; इससे पिछले उनकी गलती सही हो जाएगी।

यही हुआ।

रात को रूपाली और हेमन्त साथ नहा रहे थे कि घंटी बजी.
गौरव आया था।

हेमन्त ने टॉवल लपेट कर गेट खोल कर गौरव को अंदर बिठाया और आँख मार कर धीरे से कहा- अगर मैं बुलाऊँ तो कपड़े उतार कर अंदर आ जाना।

वापिस शावर के नीचे आकर उसने रूपाली को खूब गर्म किया और कहा- मैं गौरव को भी बुला रहा हूँ।
रूपाली ने दिखावे को गुस्सा किया फिर हेमन्त के जिद करने पर बोली- अच्छा लाइट बंद कर लो, फिर बुलाना।

हेमन्त के बुलाने पर गौरव अंदर आ गया।
उसने अपने सारे कपड़े उतार रखे थे।

अंधेरे में गौरव ने रूपाली को टटोला और चिपट गया उससे!
उनकी चूमाचाटी शुरू हो गयी।

ऊपर से शावर की धार पड़ रही थी और नीचे तीन नंगे जिस्म कामग्नि में जलते हुए आपस में चिपटा चिपटी कर रहे थे।
रूपाली कभी गौरव से चिपकती, कभी हेमन्त से!

अब आग भड़क चुकी थी।
रूपाली बोली कि चलो बेड पर चलो।

बेड पर जो सेक्स का घमासान हुआ वे शायद उस बेड पर पहले कभी नहीं हुआ होगा।

रूपाली के एक ओर गौरव लेटा था, दूसरी ओर हेमन्त!
दोनों ने एक एक मम्मे को बाँट लिया था।

रूपाली के भी दोनों हाथों में लंड मचल रहे थे।

गौरव तो रूपाली का मुंह अपनी ओर करके उसके होंठों से अपने होंठ भिड़ाये हुए था।
रूपाली भी भरपूर उसका साथ दे रही थी।

पीछे से हेमन्त उसके कंधे और कान के पीछे चूम रहा था।

रूपाली को चूत चुसवाने में बहुत मजा आता था।
हेमन्त ने गौरव से कहा कि तू नीचे जा, मैं ऊपर आता हूँ।

हेमन्त ने अपना लंड न्यूड इंडियन वाइफ Xxx रूपाली के मुंह में कर दिया और गौरव ने रूपाली की फाँकों में अपनी जीभ घुसा दी।
रूपाली अब कसमसा उठी।

उसने गौरव से कहा- और ज़ोर से करो!
कहकर रूपाली ने अपने हाथों से अपनी फाँकें और चौड़ी कर दी।

हेमन्त को देखने में मजा आ रहा था।
वह हट गया और अब गौरव चढ़ गया रूपाली के ऊपर और मम्मे मसलते हुए उसने अपना मूसल घुसेड़ दिया रूपाली की चूत में।

पूरी स्पीड से चुद रही थी रूपाली!
आज किसी को कोई डर नहीं था।

रूपाली को हेमन्त का खयाल आया तो उसने अपने को गौरव से छुड़ाया और हेमन्त के ऊपर चढ़ गयी और उसका लंद अपनी चूट में करके लगी ज़ोर ज़ोर से उछलने!
हेमन्त को बड़ा मजा आ रहा था।

उसने अब रूपाली को पलटा और घोड़ी बनाया और पीछे से उसकी चूत में अपना लंड घुसाया और गौरव को इशारा किया कि वह उसके मुंह में अपना लंड दे दे।
हालांकि रूपाली को इसमें घिन आ रही थी … पर सेक्स में सब जायज़ था।

हेमन्त ने जल्दी अपना माल रूपाली की चूत में निकाल दिया।
रूपाली ने पास रखे तौलिये से अपने को साफ किया।

हेमन्त उठकर वाशरूम में फ्रेश होने चला गया.
और इधर गौरव और रूपाली चिपट गए एक दूसरे में सामने के लिए और ताबड़तोड़ चुदाई की।

जब हेमन्त वापिस आया तो दोनों गुंथे हुए हाम्फ रहे थे।
हेमन्त हंसते हुए गौरव से बोला- छोड़ दे बेचारी को! आज ज़िंदगी में पहली बार इसने दूसरे लंड का मजा लिया है।

अब उसे क्या मालूम था कि रूपाली और गौरव तो उसके साथ पहले ही बेवफाई कर चुके हैं।

डिनर लेते समय हेमन्त ने गौरव से कहा- गौरव, बस ये पहली और आखिरी बार था; इसके बाद कभी नहीं होगा।
रूपाली बोली- इसके बाद कभी तुम कहोगे तो भी मैं नहीं करूंगी, बस एक बार ही काफी है।

गौरव घर चला गया।

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न्यूड इंडियन वाइफ Xxx कहानी का अगला भाग: बेकाबू हवस का अंज़ाम- 6

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