दीदी को थ्रीसम सेक्स का मजा दिलाया

(Nangi Gand Desi Sex Kahani)

नंगी गांड देसी सेक्स कहानी में पढ़ें कि पड़ोस की दीदी की चुदाई की बात मैंने अपने दोस्त को बताई तो वह भी दीदी से सेक्स की बात करने लगा. मैंने उसका जुगाड़ लगाया.

मित्रो, मैं आपका चहेता प्रिंस एक बार पुन: अपने सेक्स कहानी के अगले भाग को लेकर आपकी सेवा में हाजिर हूँ.

कहानी के पहले भाग
पड़ोस की दीदी ने मुझे पटाकर लंड लिया
में अब तक आप पढ़ चुके थे कि मैंने अपनी पड़ोसन चंकी दीदी की चूत में एक ही शॉट में लंड पेल दिया था, जिससे वो दर्द से तड़फ उठी थीं और कुछ देर बाद वो मजा लेने लगी थीं.

अब आगे नंगी गांड देसी सेक्स कहानी:

वो बोलीं- तू मुझे भी मार और गाली देकर चोद!
मैं गाली देने में उनका बाप था, मुझे भी अपने थप्पड़ का जवाब देना था.

मैंने भी कसके उनके कूल्हे पर थप्पड़ लगा दिया.
उनके मुँह से ‘आ..ह …’ निकल गई.

मैंने दीदी को गली देना शुरू की- साली रंडी चुदक्कड़ रांड … बहुत चुदने का शौक है न कुतिया … अभी तेरी भोस का भोसड़ा बनाता हूँ मादरचोद!
ऐसा बोलकर मैं स्पीड में चोदने लगा.

वो ‘आ..ह आ..ह उई..ह …ई …’ करने लगीं.

लगभग आधा घंटा तक चुदाई का प्रोग्राम चला.
मैंने अपने लंड का सारा माल उनकी चूत के हवाले कर दिया और अपना लंड उनके मुँह में डाल कर साफ़ करवा लिया.

थोड़ी देर में उनके मुँह में अपना लंड फिर से डाला और सो गया.

एक घंटा बाद मैं अपने घर आ गया.

दूसरे दिन मैं स्कूल में था. तब मेरे दोस्त को मैंने वो बात बताई.
वो मुझसे सीनियर था.
उसका भी मन मेरी चुदक्कड़ दीदी को चोदने का हो गया.

उसने मुझे वीडियो गेम भी देने का वादा किया कि अगर मैं दीदी को चोदने का जुगाड़ करूँ तो वो मुझे नया वीडियो गेम खरीद कर देगा.
मेरे लिए वो वीडियो गेम ज़रूरी था.

मैंने उससे दीदी को मनाने का वादा किया.
अब मैं उसी जुगाड़ में लग गया.

एक दिन मुझे मौका मिला.
मेरे दूर वाले मामा की लड़की की शादी थी. उस समय मेरी परीक्षा चल रही थी.

मम्मी और पापा दोनों शादी के लिए पांच दिन के लिए चले गए.
मैं घर पर ही रुक गया.

मम्मी दीदी को मेरे खाने का और मुझे संभालने का बोल कर चली गईं.

मुझे जो मौका चाहिए था, वो मिल गया.
मैंने दूसरे दिन थ्रीसम (तीन लोगों का सेक्स) के फोटो वाली बुक मार्केट से खरीदी और दीदी को दिखाने ले गया.

दीदी ने वो देखी, तो खुश हो गईं.
पर उन्होंने मुझसे पूछा- तू ये मुझे क्यों दिखा रहा है?
मैंने दीदी को बताया- इसमें बहुत मज़ा आता है.
उन्होंने पूछा- तुझे कैसे पता?

मैंने बताया- मैंने अपने दोस्त के पास वीडियो में देखा है और यदि आप चाहें तो मैं आपको भी ये मज़ा दिलवा सकता हूँ.
वो ये सुनकर चौंक गईं और मना करने लगीं.

मैंने उन्हें समझाया और कहा- दीदी सोचो … आपको दो लंड एक साथ चोदेंगे, कितना मजा आएगा! जब आपकी चूत और गांड एक साथ चुदेंगी, तो आपको जन्नत का मज़ा आ जाएगा.
दीदी यह सुनकर कामुक हो गईं.

उनको दो लंड से एक साथ चुदने की इच्छा बलवती हो गई.
मेरा लंड भी खड़ा हो गया.

मैंने दीदी के चुचे मसलना चालू कर दिए.
दीदी भी मेरे लंड को ऊपर से दबाने लगीं.

मुझे दीदी की गांड मारनी थी और मैं दीदी को गर्म कर रहा था.
दीदी आ ह आ ह करने लगीं.

तब मैंने मौका देख कर दीदी को बता दिया- मेरा एक दोस्त है, जो मुझसे सीनियर है. आपको डबल मज़ा देने के लिए मैं उसको बुला सकता हूँ.

दीदी एकदम से चौंक गईं और मना करने लगीं.
मैंने उनके चुचे दबाते हुए उनको मना लिया- आप एक बार दो लौड़ों से चुदकर देखो तो सही … बहुत मज़ा आएगा.

दीदी किसी को ना बताने की शर्त पर राज़ी हो गईं.
उस दिन मैंने दीदी को कुतिया बना कर चोदा और उनकी गांड में उंगली डाल दी.

कुछ देर बाद हम दोनों का चुदाई का प्रोग्राम खत्म हुआ और मैं चला गया.
हम दोनों ने दूसरे दिन थ्रीसम चुदाई का प्रोग्राम बनाया.

दूसरे दिन मैंने मेरे दोस्त को बताया- मैंने तेरा काम कर दिया है. मेरा वीडियो गेम दे दो.
उसने मुझे नया वीडियो गेम लाकर दिया.

मैं बहुत खुश हो गया.

स्कूल से हम दोनों दोस्त साथ निकले और मेरे घर पर आ गए.
हम दोनों ने खाना खाया.

मैंने अपने दोस्त को मेरे घर पर रुकने को कहा और मैं दीदी के घर पर पहुंच गया.
मैंने दीदी को आवाज़ लगाई और कहा- दीदी हम दोनों आ जाएं?

दीदी ने कहा- हां, आ जाओ.
मैंने अपने दोस्त को जल्दी से बुला लिया.

दीदी मेरे दोस्त को देख कर चौंक गईं.
वो सवा छह फुट लम्बा था.
उसकी बॉडी देख कर वो मस्त हो गईं क्योंकि मेरा दोस्त का कसरती बदन था.

दीदी ने कॉफ़ी बनाई और हम तीनों ने साथ में पी.

उससे दीदी ने थोड़ी देर बातचीत की.
मेरा दोस्त और दीदी काफ़ी घुल मिल गए थे.

मैं अनाड़ी की तरह देखता रहा.
दीदी ने लाल रंग का टॉप और कसी हुई लैगिंग्स पहनी हुई थी. दीदी आज कुछ ज़्यादा ही चमक रही थीं.

फिर हम तीनों एक बेड पर बैठ गए.
मेरे दोस्त ने धीरे से दीदी का हाथ पकड़ा और चूमने लगा.
दीदी थोड़ी शर्मा गईं.

फिर मैंने देर ना करते हुए दीदी के मम्मों को दबाना चालू कर दिया.

दीदी आंखें बंद करके लेट गईं.
हम दोनों दोस्त जैसे कोई तंदूरी मुर्गी मज़े से खा रहे हों, ऐसे दीदी के बदन को नौंचने लगे थे.

मैंने धीरे धीरे दीदी के बदन से सारे कपड़े उतार दिए.
दीदी पूरी नंगी हो गईं.

उन्होंने अपनी चूत क्लीन शेव कर दी थी.
मैं दीदी के चुचे मुँह में लेकर चूस रहा था और मेरा दोस्त दीदी के होंठों का रस पी रहा था.
दीदी की मादक सिसकारियां निकाल रही थीं.

धीरे धीरे मेरे दोस्त ने दीदी की गुलाबी चूत पर अपना मुँह रख दिया.
दीदी ‘आहह … आहह …’ करके पूरे रूम को कामुक आवाजों से भरने लगीं.

फिर मैंने अपना लंड दीदी के मुँह में ठूंस दिया.
उनकी आंखों से पानी निकल गया.
वो बोलीं- साले कुत्तों … मार डालोगे क्या?

हम दोनों और ज्यादा जोश में आ गए.

फिर मेरे दोस्त ने अपना लंड निकाला उसका लंड देख कर दीदी चिल्ला उठीं और बोलीं- अबे साले … ये तेरा लंड है या मूसल है?
आठ इंच लंबा और तीन इंच मोटा लंड देख कर दीदी का नशा फट गया था.

मैं भी उसका लंड देख कर चौंक गया था.
ऐसा लंड तो सिर्फ़ पॉर्न फिल्म में ही होता है.

मेरे दोस्त का लंड सच में बहुत ही मोटा था.
ये सोच कर मेरी भी गांड फट गई कि दीदी की चूत और गांड का क्या हाल होगा.

मेरे दोस्त ने अपना लंड दीदी के मुँह में डाल दिया.
दीदी पूरी गर्म हो गईं और दोस्त के मोटे लंड को मज़े से चूसने लगीं.

मैंने अपना लंड भी दीदी के मुँह में डाल दिया.
दीदी एक साथ दोनों लंड को पकड़ कर चूसने लगीं.

फिर मैंने दीदी की चिकनी चूत में अपनी जीभ डाल दी और मजे से चूसने लगा.

पूरी चूत नमकीन पानी से भरी हुई थी.
दीदी आहह … आहह … करने लगीं.

फिर मैंने अपने दोस्त को इशारा किया.
वो समझ गया और नीचे आ गया.

मैंने दीदी के दोनों पांव ऊपर किए और दीदी की चूत में मैंने अपना लंड सैट करके धक्का दे दिया.

दीदी ‘आइ … उहह …’ करने लगीं.
मैंने धीरे धीरे चोदना चालू कर दिया.

मेरे दोस्त ने दीदी के पांव पकड़े हुए थे और वो दीदी की देसी गांड के छेद में उंगली कर रहा था.
दीदी ‘उहह … आहह.’ कर रही थीं.

अब मैंने दोस्त को पीछे से आने का इशारा किया और मैंने आगे होकर दीदी के पैरों को पकड़ लिया.
उसी समय मेरे दोस्त ने अपना लंड दीदी की चूत पर सैट कर दिया और ज़ोर से धक्का दे दिया.

दीदी इसके मोटे लंड से चिल्ला उठीं- ओ मां मर गई … आह साले ने मार डाला.
मैंने झट से दीदी के मुँह में अपना लंड घुसा दिया और दीदी की आवाज़ रोक दी.

मेरे दोस्त का आधा लंड चूत में घुसा हुआ था, वो धीरे धीरे अपने लंड को आगे पीछे करने लगा.

कुछ देर में दीदी को मज़ा आने लगा, वो अब मेरा लंड भी मस्ती से चूस रही थीं.

फिर मैंने अपने दोस्त को नीचे लेटने को कहा, उसके लंड के ऊपर दीदी को लिटाया.
मेरे दोस्त का लंड दीदी की चूत में घुस गया था.

मैं ऊपर से दीदी की गांड में उंगली कर रहा था.

थोड़ी देर बाद मैंने दीदी की नंगी गांड के छेद में क्रीम लगाई और छेद को चिकना कर दिया.
अपने लंड को गांड के छेद पर सैट करके ज़ोर से धक्का दे दिया.

दीदी चिल्ला उठीं- उई मादरचोद चूतिए … धीरे डाल … आह गांड फाड़ दी.

मैंने धीरे धीरे दीदी की गांड में धक्के मारना चालू कर दिए.
दीदी ‘आहह … आहह … ऊए …’ करने लगीं.

मैं और मेरा दोस्त मज़े से दीदी की चूत और गांड मार रहे थे.
अब दीदी भी मज़े से रंडियों की तरह अपने दोनों छेद एक साथ चुदवा रही थीं.

कुछ देर बाद मैंने अपना सारा माल दीदी की गांड में डाल दिया और फिर से मेरा लंड दीदी के मुँह में डाल कर चुसवा कर साफ़ करवा दिया.
मेरे दोस्त ने भी अपना माल दीदी के मुँह पर डाल दिया और उनको किस करने लगा.

दीदी थक गई थीं इसलिए बेहोश सी होकर मेरे दोस्त की बांहों में गिर गईं.
हम तीनों थोड़ी देर ऐसे ही पड़े रहे.

थोड़ी देर बाद मेरा दोस्त घर चला गया और मैं भी दीदी को किस करके चला गया.

मेरे घर पर कोई नहीं था तो मैं पूरी रात अकेला था.

मैंने सोचा कि आज दीदी को अपने घर पर सुला कर रात भर उनकी गांड मारी जाए.

मैंने दीदी के भाई से कहा- दादा मुझे रात में अकेले सोने में डर लगता है, आप दीदी को बोलो न कि वो रात में मेरे घर पर सो जाएं.
उन्होंने दीदी को मेरे घर में ही सोने आने के लिए कह दिया.

दीदी मेरे घर आ गईं तो मैंने दरवाजा बंद करके दीदी को गले से लगा लिया. दीदी भी बहुत खुश थीं.

जल्दी ही हम दोनों ने चुदाई का मूड बना लिया.

फिर दीदी ने कहा- प्रिंस, मुझे दारू पीकर चुदाई करवाने का मजा लेना है.

मैंने कहा- हां हो जाएगा दीदी. मुझे मालूम था कि मेरे पापा अपनी अलमारी में शराब की बोतल छिपा कर रखते हैं. क्योंकि गुजरात में शराबबंदी है तो वो जब भी बाहर जाते हैं, तो वहां से अपने लिए शराब की बोतल छिपा कर ले आते हैं.

मैं दारू की बोतल निकालने गया तो सिगरेट भी मिल गई.
मैं दोनों सामान ले आया.

दीदी शराब की बोतल देख कर खुश हो गईं.

हम दोनों ने गिलास में पैग बनाए, तब तक दीदी ने अपने कपड़ों में से एक सेक्स बुक निकाल ली.

हम दोनों ने एक एक पैग लगा लिया और सिगरेट सुलगा कर नंगी फोटो देखने लगे.
दीदी नंगी हो गईं और वो मुझे दूध पिलाने लगीं.

मैं शराब उनके दूध पर टपका कर चाटने लगा.

दीदी को मजा आने लगा.
फिर उन्होंने भी मेरे लंड पर शराब टपका कर लंड चूसा.

कुछ देर बाद दीदी को नशा हो गया और वो गांड मारने की बात कहने लगीं.
मैंने उनकी नंगी गांड में लंड पेल दिया और हचक कर दीदी की देसी गांड मारने लगा.

उस रात मैंने दीदी की दो बार गांड मारी और दीदी को अपना दीवाना बना लिया.

उसके बाद से मैं दीदी को तब तक चोदता रहा, जब तक उनकी शादी नहीं हो गई.

अब ये बात पुरानी हो गई है.
दीदी से मैं अभी भी मिलता हूँ मगर अब वो कबाड़ी के मतलब का माल हो गई हैं.

आपको मेरी नंगी गांड देसी सेक्स कहानी कैसी लगी, प्लीज़ मुझे मेल जरूर करें.
आपका अपना प्रिन्स
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