चाची की दो भानजियों की चुदाई की कहानी- 1
(Porn Chachi Sex Kahani)
पोर्न चाची सेक्स कहानी में जब मैं अपनी चाची की बहन को चोद रहा था मेरे छोटे भाई ने देख लिया. आंटी और मैंने मिल कर उसे भी सेक्स के इस खेल में शामिल कर लिया.
नमस्कार दोस्तो, मैं आप सभी का चहेता जीशान फिर से आ गया.
मेरी पिछली कहानी थी: विदेशी स्टूडेंट के साथ पहली चुदाई
उससे पहले की कहानी
चिकनी चाची और उनकी दो बहनों की चुदाई
की सीरीज को आप लोगों ने बहुत पसंद किया और ज़्यादातर लोग अंजुमन और आलिया की चुदाई के बारे में कहानी लिखने के लिए पूछ रहे थे.
मैं सब लोग से माफी मांगना चाहता हूं. मैंने उनकी चुदाई की कहानी लिखने में बहुत देर कर दी.
जॉब और पार्टीज के चक्कर में टाइम ही नहीं मिल पा रहा था.
अब मैं कुछ दिनों के लिए फ्री हूँ तो सोचा कि आप लोग जो मांग रहे थे, उस सेक्स कहानी को लिख दूँ.
ये पोर्न चाची सेक्स कहानी आप सब पाठकों के लिए ही है जिन्होंने पूरी सीरीज पढ़ी है, उनको ये कहानी सही से समझ आ जाएगी.
अगर आप नए पाठक हैं, तो कृपया पूरी सीरीज पढ़ लीजिएगा.
मैं इंजीनियरिंग के लिए बैंगलोर गया था.
बैंगलोर जाने से पहले जैसा मैंने सोचा था, वैसा कुछ नहीं हुआ था.
मैंने हर महीने चाची और आंटी से मिलने का प्लान किया था.
मगर पढ़ाई के बोझ के कारण सेमेस्टर के चलते अभी दो महीने से घर नहीं जा पाया.
वैसे मैंने महीने में एक बार घर ही जाने का तय किया था और शुरू के कुछ महीनों तक ऐसा चला भी था.
पहले सेमेस्टर के बाद छुट्टियों में मैं घर गया. पहले मैं चाची के घर गया.
चाची मुझे देखकर एकदम से शॉक हो गईं और मेरे गाल पकड़कर बोलने लगीं- अरे जीशान, कितना बदल गया तू? तेरा तो कलर ही बदल गया है.
मैं- आपके जितना कलर तो नहीं आया ना चाची.
घर पर चाचा भी थे. चाचा हालचाल पूछ रहे थे और पढ़ाई के बारे में पूछ रहे थे.
मैंने उन्हें सब बता कर उनकी हां में हां मिलाने लगा.
मैं चाचा के जाने का इन्तजार कर रहा था.
कुछ देर बाद हम तीनों लोग साथ मिलकर खाना खाने लगे.
उसके बाद चाचा निकलने लगे.
चाचा को सड़क पार करने तक मैं बाहर ही रुक कर उन्हें देखता रहा था.
चाची तुरंत अन्दर चली गईं.
मैंने चाचा के निकलने के बाद डोर लॉक किया और अन्दर आकर चाची को ढूंढने लगा.
चाची बेडरूम में थीं, एकदम नंगी और चुदने को तैयार.
चाची- बहुत दिन हो गए हैं जीशान … जल्दी से आ जा और मुझे ठंडा कर दे. अभी बच्चों के स्कूल से आने का समय हुआ जाता है.
मैं- आई लव यू चाची. मुझे क्या चाहिए वो तुम जानती हो.
मैं जल्दी जल्दी कपड़े निकालने लगा और बेड पर चला गया.
मैंने चाची को प्यार भरा चुम्मा दे दिया.
चाची- मेरे राजा, दो महीने से नहीं आया. मैंने तुझे बहुत मिस किया. मेरी चूत तेरे लंड को बहुत मिस कर रही थी. अब आ गया ना, देख मेरी चूत कैसे पानी छोड़ रही है.
मैं- अब मैं आ गया ना. मैंने भी तुम्हें बहुत मिस किया चाची जान.
चाची वैसे ही अभी तक सेक्सी हैं. उनके चूचे और भी मस्त शेप में आ गए थे.
मैं ज़ोर ज़ोर से चूमने लगा और मम्मों को अच्छे से मसलने लगा था.
धीरे धीरे मैं चाची की चूत में उंगली करने लगा.
चाची की चूत गीली हो गई थी.
मैं बिना देर किए लंड को अन्दर डालने जा रहा था.
चाची- जीशान, पहले मुँह में दे दे, बहुत दिन हो गए हैं.
मैंने बिना देर किए मुँह में लंड दे दिया.
चाची बहुत प्यार से चूस रही थीं.
वो लंड अन्दर तक ले रही थीं.
मुझे मज़ा आने लगा.
चाची सेक्स का बहुत मज़ा देने लगी थीं.
मैं जन्नत की सैर कर रहा था.
दस मिनट लंड चूसने के बाद मैं चूत में लंड डालने लगा.
चाची- आराम से कर लेना. अभी भी एक घंटे का टाइम है अपने पास.
मैं आराम से अन्दर डाल रहा था. मैं इस बार धीरे धीरे धक्के मारने लगा फिर अचानक से ज़ोर का धक्का मारने लगा.
चाची अचानक ज़ोर के धक्के लगने से तेज तेज चीखने लगीं- आआह आआह … बैंगलोर में कोई और मिल गई है, जो इतना जोश में है.
मैं- ऊउम्म हां मेरी जान … मिल गई है.
चाची- कौन है वो?
मैं- ऊम्म्म विदेशी रांड है … साली बहुत सेक्सी है.
चाची- आहह … आखिर तुझे कुंवारी मिल ही गयी. तोड़ दिया उसकी सील को?
मैं- वो कुंवारी नहीं थी … ऊउम्म उसकी सील पहले ही किसी ने तोड़ दी थी.
मैंने ज़ोर से चाची का गला पकड़ लिया और दबाने लगा.
मैं- मुझे आलिया की सील तोड़ने को मिलेगी की नहीं?
चाची- उफ्फ यार … मेरे हाथ में नहीं है … वो तू सलमा आंटी से पूछ लेना.
मैं- सील तोड़ने की मेरी ख्वाहिश ऐसी ही रह गई.
चाची- क्यों बेटा? मेरी गांड को तूने ही तो पहले मारी है न!
मैं- चाची जान, चूत की सील तोड़ने का मजा कुछ और है.
चाची- आज एक बार दीदी से मिलकर जा. उसकी शादी भी तय हो गयी है.
मैं ये बात सुनते ही ज़ोर ज़ोर से धक्के मारने लगा.
मुझे गुस्सा आ रहा था, मुझे सील तोड़ने का मौका यही था लेकिन अब उसकी भी शादी तय हो चुकी है.
ये गुस्सा मैं चाची पर निकाल रहा था, ज़ोर ज़ोर से धक्का मार रहा था.
चाची- आआह … अब मुझे मार मत देना … मैं कुछ करती हूँ.
ज़ोरदार चुदाई के बाद चाची झड़ गईं.
मैंने चाची को कुतिया बनाया और गांड मारने के लिए कहने लगा.
चाची सहयोग नहीं कर रही थीं.
फिर भी मैंने खींच कर चाची को कुतिया बनाया और उनकी गांड के अन्दर ज़ोर से लंड डाल दिया.
चाची- आआ आम्म मर गई … तेरी भूख गांड मारकर ही पूरी होगी … ले मार ले!
मैं- मेरी चाची की गांड सबसे प्यारी … ऊउम्म.
मैं भी झड़ने वाला था.
बस 5 मिनट गांड मारने के बाद मैं भी झड़ गया और आलिया के बारे में सोचने लगा.
मुझे अंजू की याद भी आ रही थी.
चाची की गांड में ही लंड डालकर पांच मिनट ऐसे ही लेटा रहा और अंजुमन व आलिया की चुदाई को लेकर सोचने लगा.
कुछ देर बाद हम दोनों ने कपड़े पहन लिए.
मैं निकलने लगा.
चाची- सलमा दीदी के घर जाना. आलिया घर में है. कुछ सैटिंग कर ले.
मैं- हां वहीं जा रहा हूँ. तुम आंटी को मत बताना. मैं सरप्राइज दूंगा.
तब मैं वहां से निकला और सलमा आंटी के घर के पास जाने लगा.
घर के पास कोई नहीं था.
मैं बिना कोई आवाज किए अन्दर चला गया.
सलमा आंटी किचन में थीं.
मैं धीरे से अन्दर गया और पीछे से उन्हें कसके पकड़ लिया.
सलमा आंटी चौंक गईं और उन्होंने मुड़कर मुझे देख लिया.
सलमा- अरे जीशान, कब आया तू? हरामखोर 2 महीने से आया ही नहीं.
इतने में मैं आंटी को ज़ोर ज़ोर से चूमने लगा और नाइटी को ऊपर से हटा दिया.
अब आंटी सिर्फ ब्रा और पैंटी में थीं.
मैं उनके मम्मों को दबा रहा था और ज़ोर ज़ोर से चूम रहा था.
तभी अचानक से कोई अन्दर आ गया.
मेरी गांड फटने लगी.
आंटी का मूड खराब होने लगा.
लेकिन क्या किया जा सकता था.
किसी और ने हमें देख लिया था.
हम दोनों जल्दी से अलग हुए.
मैं जैसे ही पीछे मुड़ा, मुझे मेरा भाई नज़र आ गया.
उसका नाम जीलान है.
जीलान- भाई, तू कब आया … और यहां क्या कर रहा है? और ये क्या कर रहा था?
उसे देख कर मेरी गांड और ज्यादा फट गई.
मेरे भाई के साथ मेरा उतना जमता नहीं था. वो साला हमेशा मेरी शिकायत करता था. अब तो मैं पूरी तरह से फंस गया था.
सलमा- क..कुछ नहीं बेटा.
वो घबराती हुई बोलीं.
जीलान- मैं पापा को बताऊंगा, सबको बताऊंगा.
वो बाहर निकलने लगा.
मैंने तुरंत डोर को लॉक किया और उसे समझाने लगा.
मैं- भाई, किसी को मत बोलना, तुझे जो चाहिए वो दे दूँगा. प्लीज किसी को मत बताना.
सलमा- हां बेटा, प्लीज किसी को मत बताना प्लीज. तुम्हें पैसे दूंगी प्लीज.
मगर वो नहीं मानने वाला था.
मैं- वैसे तू यहां क्यों आया?
जीलान- पापा मुझसे आंटी से पैसे मांगने के लिए बोले थे, इसलिए मैं आया था … और तू पकड़ा गया.
वो ऊपर सोफे पर बैठा था, मैं नीचे बैठकर उसे समझाने लगा.
वो ना तो मेरी बात सुनने को तैयार था और न आंटी की बात.
पहले मैं जीलान के बारे में बता देता हूँ.
जीलान मेरा छोटा भाई है. मुझसे सिर्फ एक साल का छोटा था, लेकिन दिखने में मुझसे बड़ा दिखता था.
पूरे 6 फुट का कद … स्पोर्टज़ में नेशनल लेवल का प्लेयर था.
उसको लड़कियों का टोटा नहीं था, उसने खुद बहुत सारी लड़कियां को रिजेक्ट किया था.
अब उसको समझाने वाले एक ही थीं, वो मेरी चाची.
मैंने तुरंत चाची को फ़ोन लगाया और चाची परवीन आंटी को भी लेकर आने लगीं.
सलमा आंटी जीलान को पसंद आने वाली सब चीजें लेकर आने लगीं.
उसके लिए कुकीज कोल्डड्रिंक सब कुछ.
वो बाहर जाने के लिए जिद कर रहा था, लेकिन हमने दरवाजा लॉक किया हुआ था.
सलमा आंटी कोशिश कर रही थीं, उसको सिड्यूस करने के लिए.
वो नाइटी में थीं. आंटी उसके आगे जानबूझकर झुकने लगीं ताकि उसे अपने चूचे दिखा सकें.
पर वो देख कर भी अनदेखा रहा था.
जीलान पढ़ाई में कमजोर था और मैं पढ़ाई में फर्स्ट था.
उसको हर वक़्त डांट पड़ती थी.
अब उसको रिवेंज लेने का एक ही मौका था.
मुझे बदनाम करने का उसका सपना मानो पूरा हो गया था.
तो मुझे जल्दी ही कुछ करना था.
मैंने चाची को मैसेज किया कि सेक्सी ड्रेस पहनकर आना.
मैं- भाई, हम दोनों भाई हैं. हमको एक दूसरे को साथ देना होगा. तू चाहेगा तो ये सब तुम्हें भी मिलेगा.
जीलान- मुझे ऐसे बहुत सारी मिलती हैं. मुझे इन सबकी ज़रूरत नहीं है. इतने साल से जो तूने मुझे तंग किया, उसका बदला अब मैं लूंगा.
मैं- मुझे माफ़ कर दे भाई. तू सिर्फ मेरी ही नहीं, सबकी बदनामी करेगा, ऐसा मत कर!
इतने में घर की घंटी बजी.
मैंने आंटी को देखने के लिए इशारा किया.
आंटी ने दरवाजा खोला.
चाची और आंटी सेक्सी साड़ी पहनकर आ गई थीं.
उनको देख कर मेरा लंड खड़ा होने लगा लेकिन पहले इसको समझाना जरूरी था.
जीलान- चाची, देखो यहां क्या चल रहा है. भाई आंटी के साथ बदतमीजी कर रहा है.
चाची- हां बेटा, तेरा भाई बैंगलोर जाकर बहुत बिगड़ गया है. मैं ही बताऊंगी पापा को.
जीलान- अब तुझे कोई बचा नहीं पाएगा.
चाची ने मुझे आंख मारी और मैं समझ गया.
जीलान के अगल बगल चाची और परवीन आंटी बैठ गईं.
चाची जीलान के गले से लगीं और उससे बात करने लगीं- कितना लंबा और हैंडसम लग रहा है तू जीलान!
वो चाची की इस हरकत से चौंक गया और हड़बड़ाते हुए बोलने लगा- आह थैंक्यू चाची.
परवीन आंटी उसकी जांघ के ऊपर हाथ मसलने लगीं.
परवीन- तेरे भाई से भी तू बहुत हैंडसम है, एकदम हीरो जैसा है.
अब उसको अच्छा लगने लगा क्योंकि आंटी ने उसको मुझसे बेहतर कह दिया था.
चाची ने मुझे और आंटी को रूम में जाने के लिए इशारा किया.
परवीन आंटी उसके गाल पर किस करने लगीं.
इससे जीलान और भी हैरान हो गया- आंटी, ये आप क्या कर रही हैं?
परवीन- हीरो को तो किस नहीं कर सकते, इसलिए तुझे किस कर रही हूँ.
इतने में चाची ने उसको कसके पकड़ा और जोरदार लिप-किस कर दिया.
चाची- ये जीलान मेरा बेटा है, उसको पहले मैं किस करूँगी.
जीलान परेशान हो गया, उसको पसीना छूटने लगा- चाची …
इतने में परवीन आंटी उसकी पैंट खोलने लगी थीं.
ऊपर से चाची किस कर रही थीं.
कितना विरोध करेगा, आखिर वो भी तो मर्द है. वो भी सहयोग करने लगा.
उसने मुझे कमरे में ना पाकर चाची के साथ मजा लेना शुरू कर दिया था.
नीचे आंटी ने उसकी पैंट को निकाल दी और उसके पैर चूमने लगीं.
मैं और आंटी इस सबका वीडियो बना रहे थे.
इतने में सब गर्म हो गए.
यहां सलमा आंटी भी गर्म हो गयी थीं और वो मेरे पैंट के अन्दर हाथ डालकर लंड को हिलाने लगी थीं.
वहां कामुक सिसकारियां शुरू हो गई थीं.
परवीन आंटी उसका अंडरवियर निकालने लगीं.
ऊपर चाची जबरदस्त चूमाचाटी कर रही थीं.
जीलान- आंटी ये आप क्या कर रही हो? छोड़ो मुझे!
इतने में मैं रूम से मोबाइल लेकर आ गया.
मैं- अभी ज़्यादा नाटक मत कर, ये सब रिकार्ड कर लिया है. किसी को कुछ बोला ना … तो पहले सबको ये दिखाऊंगा.
जीलान- अब पता चला, तुम चारों लोग एक हो … मुझे फंसा दिया.
परवीन- इसमें फंसाना क्या है, तू बस मजे ले ना!
आंटी ने उसके लंड को मुँह में ले लिया और मस्ती से चूसने लगीं.
जीलान जन्नत की सैर करने लगा- ऑह … आंटी … आह उम्म!
आंटी ज़ोर ज़ोर से लंड चूसने लगीं.
इतने में चाची और सलमा आंटी अपने कपड़े उतारने लगीं.
चाची ब्रा और पैंटी में आ गई थीं.
सलमा आंटी ने नाइटी निकाल दी.
अब वो दोनों सिर्फ ब्रा और पैंटी में थीं.
जीलान एकदम से चौंक गया.- आआह चाची इतने बड़े दूध … वाह.
चाची उसके बगल में जाकर बैठ गईं और उसके हाथों को लेकर अपने मम्मों के ऊपर रख दिया- ये दूध नहीं हैं, इन्हें चूचे कहते हैं. अच्छे हैं न … दूध पियेगा?
जीलान- हां दे दो मुझे.
जीलान चाची के मम्मों को ज़ोर ज़ोर से मसलने लगा, ब्रा को हटाकर मम्मों को चूसने लगा.
मैं यहां सलमा आंटी के साथ मज़े लेने लगा. मैंने उन्हें नीचे लेटाया और उनकी चूत को सहलाने लगा, मम्मों को चूसने लगा.
मैं- चूतिए … तू बहुत लकी है. मुझे इन तीनों को पटाने में 3 महीने लग गए … और तुझे बिना कुछ किए सब मिल गईं.
सलमा- अब ये बात कहीं बाहर जाना नहीं चाहिए. अपने बीच रहना चाहिए.
जीलान- इतना मजा लेने के बाद बात कैसे बाहर जाएगी आंटी.
मैं- अबे इधर देख, ये चूचे देख, चाची से बड़े हैं.
इतने में जीलान झड़ गया.
वो लंड मुँह से बाहर निकालने लगा.
परवीन- मुँह में अन्दर ही डाल दे बेटा.
जीलान- तुम लोग तो बहुत मज़े लेते हो आई एम सॉरी भैया, मुझे भी सारे मजे लेना है.
मैं- तू बस मेरे साथ रहना भाई, तुझे पूरे मजे मिलेंगे.
सलमा, परवीन, चाची सबने कहा कि हम सब साथ हैं.
अगले भाग में आपको सेक्स कहानी का लुत्फ़ और भी ज्यादा मिलने वाला है. मुझे मेल करें.
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पोर्न चाची सेक्स कहानी का अगला भाग: चाची की दो भानजियों की चुदाई की कहानी- 2
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