कजिन सिस्टर की चुदाई की सेक्स स्टोरी
(Cousin Sister Ki Chudai Ki Sex Story)
नमस्ते दोस्तो, मैं प्रनब मंडल कोलकाता से मैं बँगाली हूँ इसलिए कहीं गलती हो जाए तो माफ़ करना। यह मेरी प्रथम सच्ची सेक्स स्टोरी है यदि यह आपको अच्छी लगी तो मैं और अच्छी से अच्छी कहानियाँ पेश करुँगा।
रूपा मेरी कजिन सिस्टर यानि बुआ की लड़की थी, वह मेरे घर के पास ही रहती थी. वह सुन्दर, थोड़ी सांवली और उसकी उम्र होगी यही कोई 19 साल… उसका बदन भरा पूरा था, उसकी आँखों में हमेशा कुछ खुराफात सी करने की ललक सी दिखती थी. वो थोड़ी सी कमीनी थी, हमेशा इश्कबाज़ी करती थी और जब भी मैं उसके पास आया करता था तो वह मुझको अपनी इश्कबाजी की सारी बातें बताया करती थी. जिसे सुनते-सुनते मेरा लंड खड़ा हो जाता.
उसको चोदने की इच्छा मेरे अन्दर कुछ कारणों से जागी, जैसे उसका मेरे साथ इस तरह की बातें करना, उसके फ़ोन में गंदी-गंदी फोटो पाना और बहुत कुछ इस तरह का होता था जो उसके चुदक्कड़ होने की तरफ इशारा करते थे.
मेरे अन्दर लड़कियों को पटाने के बहुत से तरीके हैं, जिसमें से एक तरीके का इस्तेमाल मैंने रूपा के लिए किया. मेरी इस चुदाई की कहानी को पढ़ कर आप भी उस तरीके को जान लेंगे.
मेरे पापा और उसके पापा दोनों एक ही कम्पनी में नाईट ड्यूटी का काम करते थे. तब रात को बुआ और रूपा हमारे घर सोने आ जाती थीं ताकि मुझे और मम्मी को अकेला न सोना पड़े.
एक दिन मैं रूपा के घर गया, तब फ़ूफा जी बाज़ार गए हुए थे और बुआ जी किचन में खाना बना रही थीं.
मैं उस दिन कजिन सिस्टर को पटाने के चक्कर से ही गया था इसलिए मैं अपने स्मार्ट फोन में जन्नत-2 फ़िल्म भर कर ले गया. रूपा कमरे में बैठी थी, मुझे पता था मुझे देखते ही वह गर्लफ्रेंड ब्वॉयफ्रेंड की बातें करेगी, इसलिए मैंने जाते ही फ़िल्म देखने की बात कर दी.
वह खुश हो गई और हम दोनों फ़िल्म देखने लगे. फ़िल्म में चूमा चाटी चल रही थी, जिसे देख कर रूपा एक दम चुप हो गई. मुझे पता चल गया कि वह गर्म हो चुकी है.
मैंने तभी मौके पे चौका मारना चाहा, मैंने कहा- ये लोग पता नहीं किस क्यों करते हैं, पता नहीं क्या मज़ा मिलता होगा.. तुझे क्या लगता है रूपा?
बस अब और क्या.. मेरा जादू चल गया. उसने धीरे स्वर में कहा- मुझे भी नहीं पता, कैसा लगता है.
मैंने कहा- तो फ़िर चल हम दोनों एक बार करके दखते हैं.
उसने तकम कर कहा- एक मारूंगी, मैं तुम्हारी सिस्टर हूँ, भाई-बहन में ऐसा थोड़ी ना होता है.
मैंने कहा- अरे यार, एक तो मुझे अपनी सारी सेक्सी बातें बताती है, ऊपर से भाई बहन की बेकार की बातें चोद रही है.
शायद तब वह गर्म थी और मेरे मुँह से चोदना शब्द सुन कर कुछ भी करने को तैयार हो उठी. इसलिए वह आसानी से मान गई. हालांकि तब मैं उसे चोदना नहीं चाहता था क्योंकि तब फूफा जी बाज़ार गए हुए थे और कभी भी आ सकते थे और सबसे बड़ी प्रोब्लम थी कि बुआ रसोई में थीं.
इसलिए मैं उसे और गर्म करने के लिए उसके गाल और गर्दन में हाथ फेरने लगा और कहा- अभी कोई देख लेगा, रात को जब तू और बुआ मेरे घर आएंगे, तब मम्मी से जिद करके तेरे घर टीवी देखने के बहाने आकर करेंगे.
वह मान गई और मैं वहाँ से चला आया. उस वक्त मुझे वह जिस तरीके से देख रही थी.. मुझे उस बेचारी पर बहुत तरस आ रहा था कि उसे गर्म करके ऐसे ही जा रहा हूँ.
मुझे उस पूरे दिन चैन नहीं था.
छह बजते ही पापा और फूफा काम पर चले गए और मैं मम्मी से टट्टी करने की कह कर बाथरूम में चला गया. मेरे हाथ में एक ब्लेड था ताकि लंड के बाल छांट सकूं.
बंगालियों का मानना है कि टट्टी करके हमेशा नहाना चाहिए इसलिए मुझे भी नहाना पड़ा, लेकिन इस बहाने मैंने अपना लंड भी साफ़ कर लिया ताकि मौका हुआ तो रूप से लंड चुसाई का मजा लिया जा सके.
दस बजे जब बुआ और रूपा घर आए तो हम दोनों ज़िद करने लगे कि हमें रूपा के घर टीवी देखने जाना है.
मम्मी और बुआ मान गईं, फिर 5 मिनट में रूपा के घर जाने से पहले मैंने उसे गर्म करने के लिए कहा- आज मेरे दोस्त ने एक नई फिल्म फोन में भरवाई है, मैंने तो नहीं देखी, तू देखेगी? शायद कोई एक्शन वाली फिल्म होगी.
उसने हाँ कह दिया, मैंने उससे कहा- मुझे बाथरूम भी जाना है.. इसलिए मैं तेरे घर जा रहा हूँ, वहीं फ्रेश हो जाऊंगा, तू आराम से फिल्म देख कर आना.
वह मान गई, मैंने ऐसा इसलिए किया ताकि वह उस ब्लू फिल्म को देखे और गर्म हो जाए.
जब वह घर पर आई तो वह बाथरूम जाना चाहती थी. मुझे समझ आ गया कि वह बाथरूम में उंगली करने जा रही है.
मैंने उसका हाथ पकड़ लिया और उसे अन्दर खींच कर दरवाजा बंद कर दिया और कहा- बाथरूम तब ही जा पाएगी, जब तू आज सुबह का वायदा पूरा करेगी.
मैंने मानो उसके दिल की बात कह दी हो, वह जल्दी से बिस्तर पर बैठी और बोली- आ जा तो कर ले किस.
मैं धीरे-धीरे अपना मुँह उसके पास लाया, वह थोड़ा डर रही थी इसलिए लंबी और गर्म साँसें छोड़ रही थी, जो मेरे लंड को खड़ा करने के लिए काफी था.
क्योंकि यह मेरा पहला सेक्स था तो मुझे भी थोड़ा डर लग रहा था. मैंने जैसे ही उसके होंठों से होंठ मिलाए तो उसने एक लंबी ‘म्म्म्ह्ह्ह्ह..’ भरी. अब हम दोनों किस करने में लग गए.
एक मिनट बाद से ही जैसा हर लड़के जानते हैं कि लड़कियों के निचले होंठ में किस करते समय हल्का-हल्का काटने से वे और गर्म हो जाती हैं, तो मैंने भी एकदम वैसा ही किया. दो मिनट के किस के बाद मैंने अपना एक हाथ उसके चूचों पर रख दिया और उसने एक लंबी साँस ली. मगर उसने मुझे कुछ कहा नहीं, तो मैं समझ गया की अब वह पूरी तैयार है.
मैं उसके चूचों को मसलने लगा. उसने भी मुझे कसके जकड़ लिया. तब मैं उसकी गरदन में चूमने लगा ताकि उसकी चुदास और बढ़ जाए. अब वह मादक सिसकारियां भरने लगी थी. मैंने अपने पीठ से उसका हाथ छुड़ा कर उसे बिस्तर पर लेटा दिया और उसके ऊपर मैं चढ़कर उसकी नाईटी के ऊपर से ही उसके चूचे दबाने लगा.
यह हम दोनों का पहला सेक्स था, पर वह मुझसे ज्यादा आहें ले रही थी ‘उम्म्ह… अहह… हय… याह…’
मैंने उसकी नाईटी को खोल दिया और फिर मैंने जो देखा उसे देखकर तो मेरी गांड सूख गई.
इतने बड़े-बड़े चूचे..!
मैंने जल्द से उसके एक चूचे को अपने मुँह में भर लिया और उसे चुसकने लगा. मौका देख मैंने भी जल्दी-जल्दी अपने कपड़े खोल लिए और अब मैं उसे चोदने के लिए पूरा तैयार था.
मैंने उठकर उससे कहा- अब ज्यादा चिल्लाना मत.
तो वह बोली- ठीक है.
वैसे तो मुझे यकीन सा था कि वो खूब चुदी हुई होगी फिर भी मैंने उसकी चुत के नीचे अपना कच्छा रख दिया ताकि अगर कोई खून आदि निकले तो बिस्तर पर न गिरे.
मुझे उस पर भरोसा नहीं था इसलिए अपने हाथ से मैंने उसका मुँह दबाकर रखा और एक झटके में ही अपने लंड को उसकी चुत के अन्दर डाल दिया. दर्द न सह पाने के कारण उसने मुझे लात मारकर बिस्तर के नीचे गिरा दिया और जोर-जोर से रोने लगी. मेरी सिस्टर तो कुंवारी निकली.
मैं जल्दी से उठा और उसका मुँह दबा दिया, उसका पूरा सेक्स उतर चुका था पर मेरा नहीं; मैं एक हाथ से उसका मुँह दबाए रख कर उसके ऊपर लेट गया और फिर चोदने लगा.
वह और रोने लगी, पर मैंने उस पर रहम नहीं किया क्योंकि मुझे पता था कि अभी वह मुझे जितना दूर कर रही है, कुछ देर बाद मुझे उतना ही पास खींचेगी.
वही हुआ कुछ ही मिनट के अन्दर उसका रोना बंद हो गया और वह सिसकारियां भरने लगी- आह्ह्ह आह्ह.. बहुत मज़ा आ रहा है और और.
मैंने कहा- हाँ रंडी… लात मारते समय पता नहीं था कि कितना मजा आने वाला है.
फिर कुछ देर बाद मैंने पाया कि वह मुझे जकड़ रही है तो मैं उसे और तेज़ चोदने लगा और हम दोनों एक साथ झड़ गए.
उसकी चुत फूल कर लाल हो गई थी और उससे उठा भी नहीं जा रहा था… इसलिए मैं रसोई से थोड़ा पानी गर्म करके लाया और एक कपड़े को पानी में भिगोकर उसकी चुत सेंकने लगा, जिससे उसे बहुत आराम मिल रहा था.
इस तरह मैंने अपनी कजिन सिस्टर को उस रात चार बार चोदा.
बाद में मैंने उससे बात की तो उसने कहा कि उसे सेक्स का बहुत शौक है लेकिन वो चुदाई से डरती थी, इसीलिए अभी तक चुदाई नहीं की थी किसी के साथ… बस थोड़ा बहुत मौज मस्ती ही थी ऊपर ऊपर से…
अब मैं उसे कभी भी चोदना चाहूँ तो चोद सकता हूँ, वो मेरे लिए हमेशा तैयार रहती है.
आप लोगों को मेरी कजिन सिस्टर की चुदाई की सेक्स स्टोरी जैसी भी लगी, आप मुझे बताइएगा जरूर.
मेरी ईमेल आई डी है: [email protected]
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