दीवानी मोटे हथियार की
जब मेरी पहली कहानी अन्तर्वासना पर भेजी थी तब मुझे एहसास भी नहीं था कि एक दिन मेरे आगे पीछे ऊपर नीचे चारों तरफ लण्ड खड़े होंगे मुझे चोदने के लिए।
Hindi Sex Stories » Archives for शालू » Page 2
जब मेरी पहली कहानी अन्तर्वासना पर भेजी थी तब मुझे एहसास भी नहीं था कि एक दिन मेरे आगे पीछे ऊपर नीचे चारों तरफ लण्ड खड़े होंगे मुझे चोदने के लिए।
वो शाम 7 बजे वाली ट्रेन से ही निकलने वाले थे। मैं उनके सफ़र की तैयारी में लग गई और शाम 6.30 पर जैसे ही
राज़ की इस हरकत की वजह से मेरे उरोज इतने बाहर आ गये कि निप्पल भी दर्शायमान होने लगे थे ! मेरे उस बदमाश आशिक़ ने दूसरे हाथ से निप्पल को बाहर निकाल दिया, बूब्स इस समय ब्रा और ब्लाउज़ में भी फंसे थे
अजय ने मेरी लगभग नंगी पीठ, मुँह, गले पर चूम चूम कर मेरा बुरा हाल कर दिया था और एक हाथ से वो मेरे मोटे चूतड़ों को और मेरी चूत पर फ़िराते रहे जिससे मेरे सारे बदन में झुरझरी पैदा हो रही थी।
अजय ने मेरी चोली और लहंगा उतार दिया और खुद भी अपना कुर्ता और पाजामा भी… मुझे बहुत शर्म आ रही थी क्योंकि मेरे नीचे के दोनों वस्त्र बहुत छोटे और पारभासक थे।
मैं शालिनी राठौर, 32, जयपुर, 36-32-38, बहुत सुंदर गोल सुडौल भरे हुए मम्मे, 8 साल पहले शादी हुई थी, अब प्रेग्नेंट हूँ, अब तक दस लौड़ों से चुद चुकी हूँ। सारे लंड मैंने शादी के बाद लिए हैं।
प्रेषक : राज कार्तिक शालिनी भाभी का अपने प्यारे प्यारे दोस्तों को सप्रेम चुम्बन… कितना प्यार करते हैं आप सब मुझे… आप सबकी मेल पढ़
आपकी शालिनी राठौर आपके लिए एक बार फिर से अपनी मस्ती की दास्ताँ लेकर आई है. भूले तो नहीं ना मुझे? आया कुछ याद? हाँ जी आपकी वही शालिनी भाभी जयपुर वाली.
कैसे हो दोस्तो…मैं शालिनी जयपुर वाली…याद तो हूँ ना मैं… मेरी सेक्सी कहानियाँ तो लगी शर्त जीजा मेरे पीछे पड़ा गर्मी का इलाज पढ़ी हैं
मैं शालिनी … याद तो हूँ ना आपको… आपकी मदमस्त भाभी… आज फिर आपके साथ अपनी मस्ती की एक यादगार चुदाई की दास्तान बांटने आई
कैसे हो जी…? मजे में ना…? भूले तो नहीं ना मुझे…? मैं शालिनी जयपुर वाली… ! मेरी पहली कहानी “तो लगी शर्त” याद है ना?
मैंने हिम्मत दिखाई और बोली- जीजा समय आने दो, देख लेंगे तुम्हें भी कि कितनी चीखें निकलवा सकते हो?और मैं हँस कर वहाँ से भाग गई।
मेरी चचेरी बहन बिस्तर पर नंगी बैठी थी शरमाई सी। उसके सामने ही मेरे नए जीजाजी जिनका नाम राज है, वो खड़े थे बिल्कुल नंगे। मैं उनका लण्ड नहीं देख पा रही थी।
हर सप्ताह अपने मेल बॉक्स में मुफ्त में कहानी प्राप्त करें! निम्न बॉक्स में अपना इमेल आईडी लिखें, सहमति बॉक्स को टिक करें, फिर ‘सदस्य बनें’ बटन पर क्लिक करें !
* आपके द्वारा दी गयी जानकारी गोपनीय रहेगी, किसी से कभी साझा नहीं की जायेगी।