लीलाधर

शालू की गुदाई-1

दोस्‍तो, आपने मेरी पिछली कहानी केले का भोज को तहेदिल से पसंद किया। शुक्रिया। उससे पहले स्‍वीटी या जूली, पुष्‍पा का पुष्‍प आदि कहानियों ने

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केले का भोज-9

योनि खाली हुई लेकिन सिर्फ थोड़ी देर के लिए। उसकी अगली परीक्षाएँ बाकी थीं। सुरेश को दिया वादा दिमाग में हथौड़े की तरह बज रहा

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केले का भोज-2

मुझे उसके दोस्तों को देखकर उत्सुकता तो होती पर मैं उनसे दूर ही रहती। शायद नेहा की बातों और व्यवहार की प्रतिक्रिया में मेरा लड़कों

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केले का भोज-1

प्रिय पाठको, आपने मेरी पिछली कहानियों स्‍वीटी और पुष्‍पा का पुष्‍प को जितना तहेदिल से पसंद किया है उससे मेरे इस विश्‍वास को बल मिला

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पुष्पा का पुष्प-3

पुष्पा का पुष्प। पैंटी के नीचे ढका हुआ… सुरक्षित, कोमल, सुगंधित, रसभरा… दो हिस्सों में फटी मांसल स्पंज, जिसके बीच की फाँक को मैं कंधों से उसकी जांघों को फैलाकर चौड़ा करता हूँ!

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स्वीटी-2

स्वीटी-1 और तब मुझे पता चला कि मेरी जांघों पर कोई मोटी चीज गड़ रही है। जांघों के बीच इधर उधर फिसलती हुई कुछ खोज

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