अन्तर्मन की आग
मैंने धीरे से साड़ी के भीतर हाथ डाला। पूरे पैर को सहलाते हुए जांघों तक पहुँचा। इस बीच उनके हाथ मेरे लुंगी के भीतर मेरे लोहे जैसे गर्म और सख्त टूल को टटोलने लगे थे।
मैंने धीरे से साड़ी के भीतर हाथ डाला। पूरे पैर को सहलाते हुए जांघों तक पहुँचा। इस बीच उनके हाथ मेरे लुंगी के भीतर मेरे लोहे जैसे गर्म और सख्त टूल को टटोलने लगे थे।
प्रेषक : लव बाईट्स हाय ! मैं हूँ राहुल, चंडीगढ़ का रहने वाला एक आज़ाद ख्यालों वाला युवक। मेरी कहानी सिर्फ आप लोगों को उत्तेजित करने के लिए है, इसका मकसद अपनी सेक्स शक्ति का बखान करने के लिए नहीं है। सो, पढ़िए और मज़ा लीजिये। चंडीगढ़ में हमारा लड़के-लड़कियों का ग्रुप होता था, जो […]
दोस्तो, आपने अन्तर्वासना डॉट कॉंम पर मेरी पिछली कहानी पापा के साथ समलैंगिक सम्बन्ध में पढ़ा कि कैसे मैंने अपने पापा को उत्तेजित किया। अब आगे की कहानी पढ़िए.. अब तक मुझे साड़ी पहनना ढंग से नहीं आता था। एक दिन मैंने पापा को अकेले में पकड़ा, घर के लोग बाहर गए हुए थे, पापा […]
मैं बहुत ही दुबला पतला हूँ, मेरे शरीर पर नाम मात्र के बाल हैं। झांट और सर के बाल के अलावा छाती या हाथ पैर पर बाल नहीं हैं। मतलब यह है कि मैं अगर साड़ी में भी आ जाऊँ तो लोग मुझे पहचान नहीं पाएंगे, मेरी आवाज़ भी वैसी ही लड़कियों वाली है। खैर, […]
प्रेषक : मानस गुरू तभी से मैं श्रीजा को पाने के लिए योजना बनाने लगा। कुछ दिन बाद समीर कुछ काम से अपने घर चला गया। यही मेरे लिए सोने पे सुहागा जैसा था। तो मैंने श्रीजा को चोदने की सारी योजना पर अमल करने लगा। उस दिन मैं सुबह के करीब नौ बजे ही […]
प्रेषक : मानस गुरू (यह कहानी अन्तर्वासना इमेल क्लब के सदस्यों को “श्रीजा का गदराया बदन” नाम से भेजी गई है।) दोस्तो, मैं हाज़िर हूँ एक नई और दिलचस्प कहानी लेकर जो मेरे दोस्त और उसकी गर्लफ्रेंड की है और एक ब्लू सीडी की है जो उन दोनों पर बनाई गई। बात उन दिनों की […]
हाय दोस्तो, मेरा आप सभी को लण्ड हाथ में लेकर प्यार भरा नमस्कार। मैं अर्न्तवासना का नियमित पाठक हूँ तथा बहुत दिनों से आपसे अपने जीवन की सच्ची कहानी कहना चाह रहा था लेकिन इससे पहले मैं आपको अपने बारे में बता दूँ। खासकर उन सभी लड़कियों को जो अपनी चूत का अच्छे से भोसड़ा […]
प्रेषक : रणवीर संधु दोस्तो, मेरा नाम रणवीर है, मैं अबोहर(पंजाब) शहर का निवासी हूँ। मैं आज पहली बार अपनी सच्ची कहानी आपके सामने पेश कर रहा हूँ। यह कहानी मेरी गर्लफ्रेंड दीपिका और मेरी है। आपका समय बर्बाद न करते हुए मैं कहानी शुरू करता हूँ। मैं और मेरी गर्लफ्रेंड दीपिका एक दूसरे से […]
लेखक: माइक डिसूज़ा अभी तक आपने अन्तर्वासना डॉट कॉंम पर मेरी इस कहानी पिछले चार भागों में पढ़ा कि किस तरह मुझे ट्रेन में शिल्पा ने अपनी चुदाई के कई किस्से सुनाये और बीच-बीच में मुझसे भी तरह तरह से चुदवाया। पिछले किस्से के बाद मैं उसकी चुदाई करके उसकी बगल में लेट गया और […]
अन्तर्वासना के पाठकों को मेरा प्रणाम ! आज मैं अपनी पहली कहानी अब मैं तुम्हारी हो गई-1 का दूसरा भाग लिख रहा हूँ, लेकिन यह कहानी मेरी एक खास दोस्त, जिसका नाम “प” से शुरु होता है, को समर्पित है। कहानी के पहले भाग में आपने पढ़ा : यह कहानी मेरे घर की है, मेरे […]
प्रेषक : रोबिन चन्द्र अन्तर्वासना के सभी चाहने वालों को मेरा नमस्कार। कई दिनों से इस साईट पर आप लोगों की रचनाओं को पढ़ने के बाद आज मेरा दिल भी अपने कुछ राज बयां करना चाहता है। पहले मैं अपने बारे में कुछ बता दूँ। मेरा नाम रोबिन है और मैं बीस वर्ष का नौजवान […]
कहानी का पिछला भाग: मेरा प्रेमी-2 मनोहर अपनी हथेली से मेरी सलोनी चूत को सहलाने लगा, जिससे मैं चुदवाने को बुरी तरह बैचैन होने लगी, मेरी चूचियों में तनाव आ गया और निप्पल से दूध टपकने लगा, जिससे मेरी चूचियाँ भीग गई। उस समय मैं एकदम रसीली हो गई और मेरी चूत में पानी भर […]
कहानी का पहला भाग: मेरा प्रेमी-1 शादी के बाद पांच साल बीत गये, मैं अपने परिवार के साथ बहुत खुश हूँ, सब कुछ ठीक ठाक चल रहा था कि एक बार फिर मकान मालिक का लड़का मेरी जिंदगी में ठीक वैसे ही दखल दे रहा है जिससे मैं पांच साल पहले गुजर चुकी हूँ। वैसे […]
इस वक्त मेरी उम्र पच्चीस साल है, मैं विवाहित और एक बच्चे की माँ हूँ। मेरे पति एक फेक्ट्री में सुपरवाइजर हैं। जब मेरी शादी हुई तब मेरी उम्र बीस साल थी, मैं यह शादी नहीं करना चाहती थी क्योंकि उस समय अपने एक दोस्त के साथ मेरा लव अफेयर चल रहा था, वो बहुत […]
प्रेषक :राजा गर्ग दोस्तों आज जो किस्सा आपको सुनाने जा रहा हूँ वो उस रात का है जब मैं समझ नहीं पाया कि वो सब हो कैसे गया। आज जब मैं उस रात के बारे में सोचता हूँ तो उलझन में पड़ जाता हूँ। दरअसल बात तब की है जब मैंने कॉलेज में दाखिला लिया […]
मैं बहुत समय से अन्तर्वासना का सदस्य हूँ और आज मैं भी अपना सेक्स का अनुभव आप सब पाठकों के साथ शेयर करना चाहता हूँ। मेरी शादी को एक साल हो गया है। मेरी शादी दिसम्बर में हुई थी, उस समय बहुत ठण्ड थी लेकिन मैं तो बस अपनी पहली रात के बारे में सोच-सोच […]
मैंने पंखा चला दिया और आंटी के सामने बैठ गया। उनका आँचल पंखे की हवा से उड़ा और आंटी की दोनों चूचियों के बीच की खाई मुझे साफ दिखने लगी। मेरा लंड खड़ा होने लगा।
प्रेषक : प्रेम सिह सिसोदिया मेरी नौकरी एक घर में लग गई थी। मैं यहाँ घर का सारा काम करता था, मसलन- भोजन पकाना, घर की साफ़ सफ़ाई रखना आदि। यूँ तो मैं एक पढ़ा लिखा लड़का हूँ पर पढ़ाई में रुचि नहीं होने के कारण मेरे अच्छे नम्बर नहीं आते थे, जैसे तैसे बी […]
मैं बारहवीं कक्षा में विशाखापटनम के एक स्कूल में पढ़ता था तो मुझे हॉस्टल में रहना पड़ता था। हॉस्टल में लड़के और लड़कियाँ एक ही मंजिल में रहते थे पर उनके अलग कमरे थे।
प्रिय पाठको को मेरा नमस्कार, मेरी कहानी का अगला भाग : मैडम के साथ आखिरी बार जो हुआ वो मुझे बड़ा अजीब लगा, मुझे देखने की उनकी नज़र बदलने लगी थी, शायद वो मुझे सही में चाहने लगी थी। यह शायद मेरा वहम था मगर अगर यह सच होता तो मेरे लिए बहुत बड़ी परेशानी […]